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बोरवेल में गिरी बच्ची की मां ने पूछा, कलेक्टर की बेटी होती तो क्या होता?

हमें फॉलो करें बोरवेल में गिरी बच्ची की मां ने पूछा, कलेक्टर की बेटी होती तो क्या होता?

वेबदुनिया न्यूज डेस्क

जयपुर , शनिवार, 28 दिसंबर 2024 (16:09 IST)
Girl fell in bore well: राजस्थान के कोटपूतली (Kotputli) में बोरवेल में गिरी 3 साल की बच्ची (Girl) को निकालने का अभियान शनिवार को भी जारी रहने के बीच उसकी मां ने पूछा कि 'अगर वह कलेक्टर मैडम की बेटी होती तो क्या वह उसे इतने लंबे समय तक वहां रहने देतीं।'
 
धोली ने संवाददाताओं से कहा कि मेरी बेटी को कुएं में 6 दिन हो गए हैं। वह भूख और प्यास से तड़प रही है। उसे अभी तक बाहर नहीं निकाला गया है। अगर वह कलेक्टर मैडम की बच्ची होती तो क्या वह उसे इतने लंबे समय तक वहां रहने देतीं? कृपया मेरी बेटी को जल्द से जल्द बाहर निकालें।ALSO READ: दौसा में जीती जिंदगी, 15 घंटे के बाद बोरवेल में फंसी 2 साल की बच्ची निकली बाहर
 
इस बीच बच्ची की मां धोली देवी बचाव दल में शामिल कर्मचारियों से उसकी बेटी को बाहर निकालने की लगातार गुहार कर रही है। उसका एक वीडियो शनिवार को सामने आया जिसमें वह रोती हुई और हाथ जोड़कर बेटी को बाहर निकालने के लिये गुहार लगा रही हैं।
 
यह वीडियो स्थानीय पुलिस और प्रशासन की मदद से राष्ट्रीय आपदा मोचन बल एनडीआरएफ और राज्य आपदा मोचन बल एसडीआरएफ की टीमों द्वारा लगातार चलाए जा रहे बचाव अभियान के बीच सामने आया।
 
राजस्थान के कोटपूतली जिले की बडीयाली ढाणी में 3 साल की चेतना 23 दिसंबर को खेत में खेलते समय खुले बोरवेल में गिर गई थी। बचाव दल में लगी टीम ने शुरू में लोहे के छल्ले की मदद से बच्ची को बोरवेल से निकालने की कोशिश की लेकिन सभी प्रयास विफल रहे।
 
2 दिन तक लगातार प्रयास करने के बाद भी कोई नतीजा नहीं निकला तो बुधवार सुबह मौके पर पाइलिंग मशीन लाई गई और समानांतर गड्ढा खोदा गया। शुक्रवार को बारिश के कारण बचाव अभियान बाधित हुआ और आज 2 सदस्यीय टीम सुरंग खोदने के लिए कुएं में उतरी है।
 
जिला कलेक्टर कल्पना अग्रवाल ने संवाददाताओं को बताया कि बोरवेल के पास समानांतर गड्ढा खोदकर एल आकार की सुरंग के जरिए चेतना तक पहुंचने का प्रयास किया जा रहा है। गड्ढे में उतरे एनडीआरएफ के 2 जवान मैन्युअल ड्रिलिंग कर रहे हैं। हम उन्हें कैमरे पर देख रहे हैं। वे नीचे से जो उपकरण मांग रहे हैं, उन्हें भेजा जा रहा है।
 
सरुंड के थानाधिकारी मोहम्मद इमरान ने बताया कि हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें लगातार अभियान में जुटी हैं। कल बारिश के कारण काम बाधित हुआ।
 
यह अलग बात है कि समय बीतने के साथ बच्ची के स्वस्थ बचे होने की उम्मीद लगातार क्षीण होती जा रही है, क्योंकि बचाव दल उसे खाने-पीने का कोई सामान उपलब्ध नहीं करवा पाया है। डॉक्टरों की एक टीम एम्बुलेंस के साथ मौके पर है। जिला कलेक्टर कल्पना अग्रवाल और अन्य प्रशासनिक अधिकारी स्थिति पर नजर रख रहे हैं।

 
 
उल्लेखनीय है कि 2 हफ्ते पहले दौसा जिले में 5 साल का एक बच्चा बोरवेल में गिर गया था और बचाव अभियान 55 घंटे से ज्यादा चला था। हालांकि जब तक उसे बाहर निकाला गया तब तक वह जिंदगी की जंग हार चुका था।(भाषा)
 
Edited by: Ravindra Gupta

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