नई दिल्ली। राज्यसभा के पूर्व सदस्य एवं मशहूर शायर मोहम्मद शफी खान बेकल उत्साही का शनिवार को यहां राम मनोहर लोहिया अस्पताल में निधन हो गया। वह 87 वर्ष के थे।
बेकल उत्साही के परिवार में दो बेटे और चार बेटियां है। मस्तिष्काघात के कारण गुरुवार को उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया। उन्हें गहन चिकित्सा इकाई (आईसीयू) में रखा गया जहां आज तड़के चार बजकर 30 मिनट पर उनका निधन हो गया।
उन्हें रविवार दोपहर नमाज (जोहर) के बाद उनके पैतृक स्थान उत्तर प्रदेश के बलरामपुर में सुपुर्दे खाक किया जाएगा। उनका जन्म 1928 में बलरामपुर में हुआ था।
बेकल उत्साही ने उर्दू तथा हिन्दी भाषा को पूरा सम्मान दिया। स्थानीय भाषा के मिश्रण से उन्होंने गज़ल एवं शेरो शायरी में कई प्रयोग किए जो श्रोताओं ने खूब पसंद किया। गंगा जमुनी संस्कृति के समर्थक को साहित्यिक सेवाओं में विशेष योगदान के लिए 1976 में पद्मश्री से सम्मानित किया गया था।
उत्तर प्रदेश सरकार ने उन्हें यश भारती पुरस्कार से सम्मानित किया था। कांग्रेस ने बेकल उत्साही को 1986 में राज्यसभा का सांसद बनाया था। (वार्ता)