कोलकाता। माकपा महासचिव सीताराम येचुरी ने केंद्र की भाजपा नीत सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि वह सभी सरकारी संस्थानों तथा सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों का निजीकरण करके 'आत्म-निर्भर भारत' के नाम पर 'आत्म-समर्पण भारत’' की नीति का अनुसरण कर रही है।
येचुरी ने केंद्र सरकार पर कठोर कानूनों का इस्तेमाल कर और देशद्रोह के आरोप लगाकर विपक्ष की आवाज दबाने की कोशिश का भी आरोप लगाया। माकपा प्रदेश समिति की डिजिटल तरीके से हुई बैठक को संबोधित करते हुए माकपा नेता ने शुक्रवार को कहा कि आगामी संसद सत्र को कुछ अध्यादेशों को पारित करने के लिए बुलाया गया है जो जनता के लोकतांत्रिक अधिकारों को दबाएंगे।
नरेंद्र मोदी सरकार की विदेश नीति की आलोचना करते हुए येचुरी ने चीन के साथ जारी सीमा संकट के समाधान के लिए शांतिपूर्ण वार्ता के महत्व पर जोर दिया। येचुरी ने कहा, प्रत्येक संवैधानिक प्राधिकार पर हमला किया जा रहा है। उनकी आजादी को नजरंदाज किया जा रहा है।
उन्होंने कहा, लोकतांत्रिक अधिकार और नागरिक स्वतंत्रता पर हमले हो रहे हैं तथा असहमति की किसी भी अभिव्यक्ति या सरकार के खिलाफ विपक्ष की आवाज को 'राष्ट्र विरोधी' कह दिया जाता है तथा यूएपीए जैसे कानूनों के तहत मामले दर्ज किए जा रहे हैं।(भाषा)