देहरादून। कांग्रेस संगठन और विधायकों के दबाव के बीच उत्तराखंड के मुख्यमंत्री हरीश रावत ने गुरुवार को राज्य मंत्रिमंडल का विस्तार करते हुए दो कांग्रेस विधायकों नवप्रभात और राजेंद्र भंडारी को उसमें शामिल कर लिया।
विकासनगर से विधायक नवप्रभात और बद्रीनाथ के विधायक भंडारी को सुबह राजभवन में आयोजित एक सादे समारोह में राज्यपाल डॉ. कृष्णकांत पाल ने पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। समारोह के दौरान मुख्यमंत्री रावत के अलावा उनके मंत्रिमंडल के अन्य सहयोगी भी मौजूद थे।
अगले साल की शुरुआत में होने वाले राज्य विधानसभा चुनाव से पहले 2 और मंत्रियों के शामिल हो जाने के बाद मुख्यमंत्री रावत समेत राज्य मंत्रिमंडल में 12 सदस्य हो गए हैं। रावत के दिल्ली दौरे से लौटने के दो दिन बाद यह मंत्रिमंडल विस्तार किया गया है।
माना जा रहा है कि कांग्रेस संगठन और विधायकों के दबाव के चलते मुख्यमंत्री को इस कवायद को अंजाम देना पड़ा। बुधवार को मुख्यमंत्री ने कहा था कि उन्होंने नई दिल्ली में पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी से मुलाकात के दौरान उनके समक्ष बात रख दी है और उनसे अनुमति मिलने के बाद मंत्रिमंडल विस्तार कर दिया जाएगा।
गौरतलब है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष किशोर उपाध्याय ने पिछले दिनों कहा था कि अगले साल होने वाले विधानसभा चुनावों के मद्देनजर इस कवायद को अब और नहीं टाला जाना चाहिए।
उपाध्याय ने मुख्यमंत्री को यह भी सुझाव दिया था कि विनियोग विधेयक पारित कराने के लिए 21 और 22 जुलाई को बुलाए गए विधानसभा के विशेष सत्र के फौरन बाद मंत्रिमंडल विस्तार कर दिया जाना चाहिए और इसके लिए उन्होंने 23 जुलाई की तिथि को उपयुक्त बताया था।
पिछले साल फरवरी में बीमारी के चलते तत्कालीन समाज कल्याण मंत्री सुरेंद्र राकेश के निधन से मंत्रिमंडल में एक स्थान रिक्त हो गया था जबकि इस साल मार्च में तत्कालीन कृषि मंत्री हरक सिंह रावत के 9 अन्य कांग्रेस विधायकों के साथ सरकार से बगावत करने के कारण मंत्रिमंडल में 1 और जगह खाली हो गई। (भाषा)