Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

छगन भुजबल का दर्द उभरा, कहा- नासिक से लड़ना चाहता था चुनाव

एनसीपी में भी अंदर ही अंदर चल रही है खटपट

हमें फॉलो करें chhagan bhujbal
, शनिवार, 15 जून 2024 (00:06 IST)
NCP leader Chhagan Bhujbal News: अजित पवार गुट के एनसीपी नेता छगन भुजबल लगता है दुखी हैं। पहले उन्हें नासिक से लोकसभा का टिकट नहीं मिला फिर राज्यसभा का टिकट भी अजित पवार की पत्नी सुनेत्रा को दे दिया। महाराष्ट्र सरकार में मंत्री छगन भुजबल ने शुक्रवार को कहा कि उनकी इच्छा सांसद बनने की है और इसीलिए वह नासिक क्षेत्र से लोकसभा चुनाव लड़ना चाहते थे तथा राज्यसभा नामांकन के लिए भी उत्सुक थे।
 
भुजबल इन खबरों को लेकर पूछे गए सवालों का जवाब दे रहे थे कि महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और राकांपा अध्यक्ष अजित पवार की पत्नी सुनेत्रा पवार को उच्च सदन के लिए उम्मीदवार बनाए जाने के बाद वह परेशान थे। यह पूछे जाने पर कि क्या लोकसभा और राज्यसभा टिकट को लेकर उनके साथ अन्याय हुआ है, प्रमुख ओबीसी नेता ने कहा कि यह सवाल 'उनसे' पूछा जाना चाहिए। ALSO READ: संघ की पत्रिका में टिप्पणी पर चुप्पी साध गए अजित पवार
 
सुनेत्रा पवार ने बृहस्पतिवार को आगामी राज्यसभा उपचुनाव के लिए राकांपा उम्मीदवार के तौर पर नामांकन पत्र दाखिल किया। इससे पहले वह बारामती से लोकसभा चुनाव हार गई थीं। फरवरी में प्रफुल्ल पटेल द्वारा अपनी सीट खाली करने और उनके 6 साल के पूर्ण कार्यकाल के लिए चुने जाने के बाद उपचुनाव की आवश्यकता हुई।
 
भुजबल ने कहा कि यह मेरी इच्छा है (सांसद बनने की)। इसीलिए मैं नासिक लोकसभा सीट से चुनाव लड़ने को तैयार था। मुझे बताया गया था कि दिल्ली में मेरा टिकट फाइनल हो गया है, मैंने काम करना शुरू कर दिया था, लेकिन जब फैसला (नाम की घोषणा) एक महीने तक खिंच गया, तो मैंने काम बंद कर दिया क्योंकि काफी अपमान हो चुका था। ALSO READ: क्या महाराष्ट्र में फिर करीब आएंगे शरद और अजित पवार?
 
उन्होंने कहा कि भाजपा नीत महायुति गठबंधन में राकांपा की सहयोगी शिवसेना के हेमंत गोडसे भी नासिक से टिकट के लिए कोशिश कर रहे थे। भुजबल ने कहा कि उन्होंने तब फैसला किया कि जिसे भी टिकट मिलेगा, वह खुश रहेंगे। नासिक सीट पर शिवसेना (यूबीटी) के राजाभाऊ वाजे को जीत मिली। ALSO READ: 400 पार के नारे को लेकर क्या बोले महाराष्ट्र के सीएम एकनाथ शिंदे
 
भुजबल ने कहा कि जब पार्टी के मामलों की बात आती है, तो सभी चीजें किसी एक की इच्छा के अनुसार नहीं होती हैं। उन्होंने कहा कि उन्हें टिकट न देने के कुछ कारण हो सकते हैं। कभी-कभी, यह नियति या कोई मजबूरी होती है। जब उनसे पूछा गया कि क्या राकांपा में 'वंशवाद की राजनीति' हो रही है, तो उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया।
 
इससे पहले बृहस्पतिवार को भुजबल ने कहा था कि वह राज्यसभा टिकट के लिए उत्सुक थे, लेकिन वह सुनेत्रा पवार को उम्मीदवार बनाए जाने से नाराज नहीं हैं और यह पार्टी का 'सामूहिक निर्णय' था। (भाषा/वेबदुनिया)
Edited by: Vrijendar Singh Jhala

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

Gujarat के गोधरा से जुड़े NEET-UG परीक्षा के तार, 10-10 लाख में हुई थी डील, 5 आरोपी गिरफ्तार