ऐसा लगता है कि ग्लोबल वार्मिंग से लोगों की सेक्स लाइफ ठंडी पड़ती जा रही है। बढ़ते तापमान के कारण जन्म दर में कमी आ रही है। एक रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि गर्म मौसम के कारण कॉयटल फ्रीक्वेंसी (सहवास आवृत्ति) में गिरावट आती है। यह निष्कर्ष निकालने के लिए शोधकर्ताओं ने अमेरिका के पिछले 80 वर्षों के प्रजनन क्षमता और तापमान के आंकड़ों का अध्ययन किया।
यह पता लगाया गया है कि जब मौसम की गर्मी 80 डिग्री फारेनहाइट तक पहुंचती है तो जन्म दर में भारी गिरावट आती है। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि मौसम के प्रजनन क्षमता पर प्रभाव को दूर करने के लिए एयर कंडीशनिंग का अधिकाधिक प्रयोग करें हालांकि इस बात से इनकार नहीं किया जाता है कि एयर कंडीशनिंग भी ग्लोबल वार्मिंग को बढ़ाने में सहायक होता है।
क्या असर हो रहा है जन्म दर पर... पढ़ें अगले पेज पर....
मेलऑनलाइन के लिए अमांडा विलियम्स लिखती हैं कि अतिरिक्त गर्म दिनों के कारण जन्म दर में 0.4 फीसदी की गिरावट आती है। तीन अमेरिकी यूनिवर्सिटीज के संयुक्त अध्य्यन में बताया गया है कि वातावरण में होने वाले बदलाव के कारण अमेरिका में 2070 से 2099 के बीच 64 से ज्यादा होंगे जिनका तापमान 26.6 डिग्री सेंटीग्रेट (80 डिग्री फारेनहाइट से ऊपर होगा।
इसका अर्थ यह होगा कि अमेरिकी जन्म दर में 2.6 फीसदी की गिरावट होगी और एक वर्ष में 107,000 प्रसूतियां कम होंगी। विशेषज्ञों का कहना है कि तापमान-प्रजनन क्षमता संबंध में होने वाले ऐतिहासिक बदलावों के विश्लेषण से हम कह सकते हैं कि जलवायु परिवर्तन की कीमत को काफी हद तक दूर हटाने के लिए एयरकंडीशनिंग का इस्तेमाल किया जा सकता है।