वॉशिंगटन। कभी हार न मानने के जज्बे, कड़ी प्रतिस्पर्धा और सटीकता के कारण कोबे ब्रायंट एनबीए के दिग्गज बने और वे अपने पीछे एक ऐसी विरासत छोड़ गए जिसने नेशनल बास्केटबॉल लीग की नई पीढ़ी और दुनियाभर के प्रशंसकों को प्रेरित किया। इस दिग्गज खिलाड़ी को ब्लैक मांबा के नाम से भी जाना जाता था। ब्रायंट की रविवार को 41 साल की उम्र में हेलीकॉप्टर दुर्घटना में मौत हो गई।
क्या है ब्लैक मांबा : ब्लैक मांबा अफ्रिका के जंगलों में पाई जाने वाली सांपों की एक प्रजाति है जो बेहद आक्रामक ढंग से शिकार के लिए जानी जाती है। इसे दुनिया का सबसे खतरनाक सांप भी कहा जाता है, जिसका कांटा पानी भी नहीं मांगता। ‘ब्लैक माम्बा’ की लंबाई तकरीबन दो मीटर मानी जाती है। हालांकि, कई बार साढ़े चार मीटर तक के ‘ब्लैक माम्बा’ सांप जंगल में देखे गए हैं। ये बेहद चतुर सांप होते हैं और एक घंटे में 12.5 मील (20 किलोमीटर से अधिक) की रफ्तार तय कर सकते हैं।
कोबे ब्रायंट को क्यों कहा जाता था ब्लैक मांबा : महान बास्केटबॉल खिलाड़ी कोबे ब्रायंट को भी ब्लैक मांबा के नाम से जाना जाता था। इसकी सबसे बड़ी वजह उनका बास्केटबॉल खेलने का स्टाइल था। ब्रायंट भी बास्केटबॉल कोर्ट पर विपक्षी खिलाड़ियों के दिमाग पर उसी तरह हावी हो जाते थे मानो ब्लैक मांबा शिकार करने निकला हो। देखते ही देखते वह गेम पर पूरी तरह छा जाते थे। उनका खेल देख दर्शक भी रोमांचित हो जाते थे।
कोबे ब्रायंट का रिकॉर्ड : वे लॉस एंजिल्स लेकर्स के साथ 20 साल तक जुड़े रहे और इस दौरान उनकी टीम ने 5 एनबीए खिताब जीते। ब्रायंट ने शाकिल ओ नील के साथ मिलकर लेकर्स को 2000, 2001 और 2002 में खिताब दिलाने में अहम भूमिका निभाई थी। इस तरह से वे 23 साल की उम्र में 3 खिताब जीतने वाले सबसे युवा खिलाड़ी बने थे।
इसके बाद ओ नील ने ब्रायंट के साथ झगड़े के कारण लेकर्स को छोड़ दिया। इससे ब्रायंट का खेल भी प्रभावित हुआ और इसके बाद स्पेन के पाउ गैसोल के आने तक उनकी टीम कोई खिताब नहीं जीत पाई। ब्रायंट की अगुवाई में लेकर्स ने 2009 और 2010 में खिताब जीते। बाद में उनकी ओ नील से सुलह हो गई थी।
ब्रायंट की अगुवाई में अमेरिका की ओलंपिक टीम ने 2008 बीजिंग ओलंपिक और 2012 लंदन ओलंपिक में स्वर्ण पदक जीते थे। इससे वे वैश्विक हस्ती बन गए थे।
उन्होंने कई शानदार प्रदर्शन किए लेकिन 22 जनवरी 2006 को टोरंटो रैप्टर्स के खिलाफ उनके प्रदर्शन को कोई नहीं भुला सकता, जब उन्होंने 81 अंक बनाए। उनसे अधिक अंक केवल विल्ट चैंबरलेन (100 अंक) ने 1962 में बनाए थे। यही नहीं, 2016 में 37 साल की उम्र में उन्होंने एनबीए के अपने अंतिम मैच में भी उटाह के खिलाफ 60 अंक बनाए थे।