सोमवार से शुरु हो रहे खो-खो विश्वकप के लिए यहां पहुंची 23 देशों की महिला और पुरुष टीमों में आज यहां आयोजित भव्य स्वागत समारोह में नृत्य, नारे और संगीत के साथ थिरकते खिलाड़ियों में टूर्नामेंट के प्रति अपने जोश और उमंग की अद्भुत झलक देखने को मिली।रविवार को राष्ट्रीय राजधानी में इंदिरा गांधी इंडोर स्टेडियम में हुए इस कार्यक्रम में विभिन्न टीमों के खिलाड़ी पारंपरिक भारतीय संगीत के साथ अपने-अपने अंदाज में थिरके और प्रतिष्ठित विश्व कप ट्रॉफी के साथ फोटो भी खिंचवाये।
इस दौरान संवाददाता सम्मेलन में मीडिया से बातचीत में पोलैंड टीम के 24 वर्षीय कोनराड ने टूर्नामेंट के प्रति उत्साह व्यक्त करते हुए कहा, “खो-खो एक बहुत ही अच्छा लेकिन थकाऊ खेल है, जहाँ आप अपने दिमाग को व्यस्त रखते हुए भी स्वतंत्र रूप से दौड़ सकते हैं। उन्होंने कहा कि यह खेल शारीरिक गतिविधि और रणनीतिक सोच के बीच एक अद्भुत संतुलन है।”
महिला टीम की कैरोलिन ने कहा, “हालाँकि हम खो-खो में नए हैं, लेकिन हममें असीम ऊर्जा है। अन्य टीमों को एक्शन में देखना अविश्वसनीय रहा है विशेषकर भारत को। पिछले कुछ महीनों के प्रशिक्षण के दौरान हमने खेल की रणनीतिक समझा है।”दक्षिण अफ्रीकी महिला टीम की कोच मात्शिदिसो कहती हैं, “हम इस टूर्नामेंट को बहुत गंभीरता से ले रहे हैं। टूर्नामेंट में दक्षिण अफ्रीका भारत को कड़ी टक्कर देगा।”
ऑस्ट्रेलियाई टीम की ब्रिजेट ने कहा, “मुझे यह बहुत पसंद है क्योंकि इसमें बच्चों के खेल की चंचल स्वतंत्रता है, जहाँ आप स्वतंत्र रूप से दौड़ सकते हैं,शारीरिक गतिविधि और मानसिक चुनौती का यह मिश्रण इसे विशेष रूप से आकर्षक बनाता है।”
इस अवसर पर भारतीय खो खो महासंघ के अध्यक्ष सुधांशु मित्तल ने कहा कि इस संवाददाता सम्मेलन में 23 देशों का यह जमावड़ा देखकर मुझे बहुत अच्छा लग रहा है। दुनिया भर से प्रतिनिधियों को देखना, जोकि उनकी अपनी राष्ट्रीय पहचान साथ हमारे स्वदेशी खेल को अपनाना खो खो की सार्वभौमिक अपील और अंतरराष्ट्रीय विकास की क्षमता को दर्शाता है।
भारतीय खो खो महासंघ के महासचिव एमएस त्यागी ने तैयारी को लेकर कहा आज तकनीकी ब्रीफिंग के दौरान सभी भाग लेने वाले देशों द्वारा दिखाया गया उत्साह उल्लेखनीय रहा है। हमारा ध्यान नियमों की स्पष्टता सुनिश्चित करने और आगामी टूर्नामेंट में प्रतिस्पर्धा के उच्चतम मानकों को बनाए रखने पर होगा।(एजेंसी)