मेलबोर्न। सेरेना विलियम्स ने अपना शानदार प्रदर्शन जारी रखते हुए बुधवार को यहां जोहान कोंटा के विजय अभियान पर रोक लगाकर ऑस्ट्रेलियाई ओपन टेनिस टूर्नामेंट के महिला एकल के सेमीफाइनल में प्रवेश किया, जहां उनका सामना एक अन्य अनुभवी खिलाड़ी मिरजाना लुसिच बारोनी से होगा।
सेरेना ने राड लीवर एरेना में कोंटा के लगातार 9 मैच जीतने के अभियान पर रोक लगाई और इस ब्रिटिश खिलाड़ी को सीधे सेटों में 6-2, 6-3 से बाहर का रास्ता दिखाया। इस जीत से उन्होंने ओपन युग में स्टेफी ग्राफ के 22 खिताब के रिकॉर्ड को तोड़ने तथा अपनी बड़ी वीनस के साथ फाइनल की संभावना भी बरकरार रखी।
वीनस पहले ही सेमीफाइनल में अपनी जगह पक्की कर चुकी हैं, जहां उनका सामना हमवतन कोको वेंडेवेगे से होगा। सेरेना को हालांकि अपनी उम्मीदें बरकरार रखने के लिए लुसिच बारोनी को हराना होगा जिन्होंने 5वीं वरीयता प्राप्त कारोलिना पिलिसकोवा को 6-4, 3-6, 6-4 से हराकर वापसी पर अपना जबर्दस्त प्रदर्शन बरकरार रखा।
सेरेना को हालांकि कोंटा को हराने में कोई दिक्कत नहीं हुई। इस 35 वर्षीय खिलाड़ी ने लगातार 10वीं बार किसी ग्रैंडस्लैम के सेमीफाइनल में जगह बनाई। वे ओवरऑल 34वीं बार ग्रैंडस्लैम टूर्नामेंट के अंतिम 4 में पहुंचने में सफल रहीं।
उन्होंने मैच के बाद कोंटा की तारीफ की और उसे भविष्य की चैंपियन बताया। सेरेना ने कहा कि वह बहुत अच्छा खेल रही है। वह भविष्य की चैंपियन है। मैं वास्तव में उस पर जीत दर्ज करके खुश हूं।
अब उनकी छोटी बहन सेरेना के भी सेमीफाइनल में पहुंचने से यह ओपन युग में पहला ग्रैंडस्लैम टूर्नामेंट बन गया है जिसमें 35 या इससे अधिक उम्र की 2 महिला खिलाड़ी अंतिम 4 में पहुंची हैं।
यही नहीं, लुसिच बारोनी भी 34 साल की हैं। लुसिच बारोनी जब किशोरी थी तब उन्होंने टेनिस में धमाकेदार आगाज किया था लेकिन निजी कारणों से उनका करियर ठहर-सा गया था। अब उन्होंने शानदार वापसी की और 18 साल बाद किसी ग्रैंडस्लैम के अंतिम 4 में जगह बनाई। इन चारों में कोको वेंडवेगे ही सबसे युवा खिलाड़ी हैं। अमेरिका की यह 25 वर्षीय खिलाड़ी पहली बार किसी ग्रैंडस्लैम के सेमीफाइनल में पहुंची है। (भाषा)