नई दिल्ली। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने सालाना बजट 2018 की घोषणा में भारतीय स्वास्थ्य नीति से जुड़ी अहम घोषणाएं की हैं। गरीबों को उचित स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया करवाने के लिए बजट में आयुष्मान भारत की बात कही गई। बजट पेश करते हुए जेटली ने कहा कि स्वस्थ भारत से ही भारत समृद्ध हो सकता है।
पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति ओबामा के द्वारा चलाई गई स्वास्थ्य नीति ओबामाकेयर की तर्ज पर जेटली ने भारतीय स्वास्थ्य नीति को लेकर बड़े ऐलान किए हैं। बजट में खास गरीबों के लिए सरकार की प्रतिबद्धता नजर आई। जेटली ने स्वास्थ्य बजट के बारे में बोलते हुए कहा कि देश की 40 प्रतिशत आबादी के इलाज का खर्च सरकार उठाएगी। सरकार ने ग्रामीण इलाकों में स्वास्थ्य सेवा दुरुस्त करने के लिए 5 लाख नए स्वास्थ्य केंद्र खोले जाने का ऐलान किया है।
गरीबों की दवाइयों के लिए 1200 करोड़ रूपए के फंड की घोषणा के साथ ही गरीबों को 5 लाख रूपए तक की स्वास्थ्य सुविधाएं देने की बात भी बजट में की गई है। सरकार ने नई स्वास्थ्य योजना के जरिए देश के 50 करोड़ गरीबों को फायदा पहुंचाने का लक्ष्य रखा है। मोदी सरकार की इस घोषणा को भारत में सार्वभौमिक स्वास्थ्य लाभ नीति की शुरुआत के तौर पर देखा जा सकता है।
इन घोषणाओं पर यदि सही तरह से अमल किया जाता है तो गरीब तबके के लोगों के लिए यह बजट काफी सार्थक साबित हो सकता है। अगले साल होने वाले लोकसभा चुनावों के लिहाज से भी ये घोषणाएं काफी अहम मानी जा रही हैं।