Union Budget 2025-26 : वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को कहा कि सरकार ने बजट में आयकर स्लैब में बदलाव के माध्यम से लोगों की जेब में अच्छा पैसा डाला है। उन्होंने यह भी कहा कि आयकर छूट सीमा को सालाना 7 लाख रुपए से 12 लाख रुपए तक बढ़ाने के कारण एक करोड़ और लोगों को अब कोई कर नहीं देना होगा। वित्त सचिव तुहिन कांत पांडेय ने कहा कि अगले वित्त वर्ष में कर उछाल यानी सकल घरेलू उत्पाद या जीडीपी में परिवर्तन के संबंध में कर राजस्व में बदलाव का अनुपात 1.42 रहने का अनुमान है जो चालू वित्त वर्ष में दो प्रतिशत से कम है।
सीतारमण ने वित्त वर्ष 2025-26 के बजट में व्यक्तिगत करदाता के लिए आयकर छूट सीमा को मौजूदा के सात लाख रुपए से बढ़ाकर 12 लाख रुपए सालाना कर दिया है यानी जिन लोगों की आय 12 लाख रुपए सालाना है, उन्हें अब कोई कर नहीं देना होगा। बजट के बाद सीतारमण ने कहा, छूट 12 लाख रुपए तक बढ़ने से एक करोड़ और लोगों को कोई आयकर नहीं देना होगा।
उन्होंने कहा, सरकार ने आयकर दर में बदलाव के माध्यम से लोगों के हाथों में पर्याप्त मात्रा में पैसा दिया है...। बजट में 12 लाख रुपए से अधिक आय वाले और नई कर व्यवस्था के तहत आईटीआर दाखिल करने वालों के लिए 2025-26 में अर्जित आय पर कर देनदारी की गणना के लिए कर स्लैब को संशोधित किया गया है। सीतारमण ने कहा, हमने मध्यम वर्ग को लाभ पहुंचाने के लिए कर दरें कम की हैं।
वित्त सचिव तुहिन कांत पांडेय ने कहा कि अगले वित्त वर्ष में कर उछाल यानी सकल घरेलू उत्पाद या जीडीपी में परिवर्तन के संबंध में कर राजस्व में बदलाव का अनुपात 1.42 रहने का अनुमान है जो चालू वित्त वर्ष में दो प्रतिशत से कम है। पांडेय ने कहा, हमने कर छूट के कारण राजस्व में होने वाले नुकसान को देखते हुए कर राजस्व में मध्यम स्तर पर उछाल का अनुमान लगाया है।
उन्होंने कहा, 75 प्रतिशत आयकर दाखिल करने वाले पहले ही नई आयकर व्यवस्था में आ चुके हैं। हम उम्मीद करते हैं कि प्रत्येक करदाता अंततः नई कर व्यवस्था को अपनाएगा। (भाषा)
Edited By : Chetan Gour