लखनऊ। मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने रविवार को पार्टी का चुनाव घोषणा-पत्र जारी किया जिसमें महिलाओं, अल्पसंख्यकों, बुजुर्गों, युवाओं, किसानों और गरीबों के लिए तमाम लोक- लुभावन तोहफे हैं और उनका वादा है कि उत्तरप्रदेश में समाजवादी सरकार फिर से बनी तो 'संतुलित विकास' के मॉडल को आगे बढ़ाया जाएगा।
उत्तरप्रदेश के विधानसभा चुनाव के लिए सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष के रूप में अपनी पार्टी का चुनाव घोषणा-पत्र जारी करते हुए अखिलेश ने कहा कि स्मार्टफोन योजना के तहत जिस हिसाब से पंजीयन हुआ है, अगर उन्हीं लोगों ने वोट दे दिया तो समाजवादी लोग 300 सीटें जीतकर सरकार बना लेंगे। स्मार्टफोन के लिए 1 करोड़ 40 लाख लोगों ने पंजीकरण किया है।
पूर्व सपा अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष शिवपाल सिंह यादव इस मौके पर मौजूद नहीं थे। मुख्यमंत्री ने सपा के वरिष्ठ नेताओं, अपनी सरकार के मंत्रियों, सांसदों, विधायकों और कार्यकर्ताओं की मौजूदगी में कहा कि प्रदेश के 1 करोड़ लोगों को हर महीने 1,000 रुपए पेंशन देंगे और अत्यंत गरीबों को नि:शुल्क गेहूं और चावल वितरित किया जाएगा। घरेलू कामगारों और असंगठित मजदूरों के लिए विशेष योजना चालू होगी।
अखिलेश ने कहा कि गरीब महिलाओं को प्रेशर कुकर दिए जाएंगे ताकि वे कम समय में खाना बना सकें। अल्पसंख्यकों की धार्मिक आजादी और सुरक्षा का पूरा ध्यान रखा जाएगा। विकास में उनकी भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए विशेष योजनाएं चलाई जाएंगी। कौशल विकास का ध्यान रखा जाएगा तथा जरदोजी और चिकनकारी को प्रोत्साहित करेंगे।
अखिलेश ने कहा कि राज्य के वरिष्ठ नागरिकों के लिए 'ओल्ड एज होम' बनाए जाएंगे। कौशल विकास, स्वरोजगार और उद्यमिता के कार्यक्रम लागू किए जाएंगे। कामकाजी महिलाओं के लिए हॉस्टल बनाने के अलावा रोडवेज बस में सफर करने वाली महिलाओं का किराया आधा कर दिया जाएगा।
अखिलेश ने कहा कि मजदूरों को रियायती दर पर 'मिड डे मील' दिया जाएगा। 'आईजीसीएल' की भांति 'अन्य लोगों' को प्रोत्साहन दिया जाएगा। समाजवादी स्पोर्ट्स स्कूलों की स्थापना होगी और डेढ़ लाख रुपए से कम सालाना आय के लोगों के लिए मुफ्त इलाज की व्यवस्था की जाएगी। आगरा, कानपुर, मेरठ और वाराणसी में मेट्रो सेवा शुरू की जाएगी। लखनऊ हवाई अड्डे पर एयर एम्बुलेंस का इंतजाम किया जाएगा।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और उनके नेतृत्व वाली केंद्र की भाजपा सरकार पर तंज कसते हुए अखिलेश ने कहा कि जिन्होंने अच्छे दिन का नारा दिया, सबका साथ सबका विकास की बात कही, अब तो 3 साल हो रहे हैं, चुनाव आ रहा है तो हो सकता है कि बजट में कुछ नई चीजें दे दें (लेकिन) उत्तरप्रदेश की जनता खोज रही है कि विकास कहां है। विकास के बहाने कभी झाडू पकड़ा दी तो कभी योग करा दिया। बहाने कैसे-कैसे चल रहे हैं?
उन्होंने कहा कि हमसे पूछो कि क्या काम किया है? हम हर जिले का बता सकते हैं। प्रदेश का कोई ऐसा जिला नहीं बचा, जहां बड़ा काम नहीं हुआ हो। गांवों को 16 से 18 घंटे बिजली दी, 108, 102 एम्बुलेंस सेवा शुरू कर दी। दुनिया के बेहतरीन इंतजाम में 100 नंबर पुलिस सेवा शुरू की। लखनऊ-आगरा एक्सप्रेस-वे के रूप में अंतरराष्ट्रीय स्तर की सड़क बनाई।
बसपा सुप्रीमो मायावती पर कटाक्ष करते हुए अखिलेश ने कहा कि आजकल पत्थर वाली सरकार के लोग टीवी पर बहुत दिखाई देते हैं। नोएडा और लखनऊ में लगे पत्थर याद दिलाते हैं कि अगर उनकी (बसपा) सरकार बनी और मौका मिला तो इससे बड़े हाथी भी लगा दिए जाएंगे।
उन्होंने दावा किया कि सपा ने 2012 के घोषणा-पत्र को गंभीरता से लागू किया है। घोषणा-पत्र से आगे बढ़कर संतुलित विकास का मॉडल लागू किया। विकास और कल्याण का संतुलन रखना घोषणा-पत्र में हमारी प्राथमिकता है। लैपटॉप, कन्या विद्याधन, पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे, 102 और 108 एम्बुलेंस, 1090 वूमेन पॉवर लाइन, यूपी 100, समाजवादी पेंशन, लोहिया आवास, जनेश्वर मिश्र ग्राम विकास इत्यादि को और अधिक मजबूती से चलाया जाएगा।
अखिलेश ने कहा कि सभी (सपा) प्रत्याशियों से कहा गया कि वे अपने विधानसभा क्षेत्र के विकास का रोडमैप बनाएं जिसे सपा सरकार अगले 5 साल में लागू करेगी तथासमाजवादी किसान कोष बनाया जाएगा जिससे किसानों को राहत मिलेगी और समस्याओं का समाधान होगा।
अखिलेश ने कहा कि खुशी इस बात की है कि उत्तरप्रदेश में कोई ऐसा गांव नहीं बचा, जहां लैपटॉप ना पहुंच गया हो। कम से कम जो लोग (मोदी) 'डिजिटल इंडिया' का सपना दिखा रहे हैं, हम उनसे पूछना चाहते हैं कि 'डिजिटल इंडिया' के तहत कौन-सा कदम उठाया? कैशलेस इकॉनॉमी और जब फोन से बैंकिंग हो सकती है तो समाजवादी लैपटॉप से बैंकिंग क्यों नहीं हो सकती? (भाषा)