लखनऊ। उन्नाव की पुरवा विधानसभा से पिछले 42 साल से कांग्रेस पार्टी के सिर जीत का ताज नहीं बंद पाया है इस बार पुरवा विधानसभा पर जीत हासिल करने के लिए कांग्रेस पार्टी ने शायर मुनव्वर राना की बेटी उरुशा इमरान राणा को कांग्रेस ने मैदान में उतारा है। अब यह देखना है कि 42 साल से जीत के लिए तरस रही कांग्रेस के हाथ जीत लग पाती है या नहीं।
बताते चलें कि राजधानी लखनऊ और रायबरेली जिले की सीमा से सटा पुरवा विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस ने पांच चुनाव जीतकर 25 साल अपना कब्जा बनाए रखा। बीच के कुछ चुनावों में निर्दलीय और जनतादल ने कब्जा किया जबकि भाजपा और बसपा अपनी एक जीत दर्ज कराने के लिए तरस गईं। हालांकि की यह दोनों पार्टियां कई बार रनर रहीं लेकिन जीत का आंकड़ा नहीं छू पाई।
1993 में सपा ने जीत का सिलसिला शुरू किया तो लगातार पांच चुनावों में जीत की हैट्रिक लगा दी। पुरवा सीट सपा के लिए सबसे मजबूत सीटों में शुमार होती रही है। पुरवा विधानसभा क्षेत्र के लउवासिंहखेड़ा ग्राम पंचायत ने इस विधानसभा को आठ बार विधायक दिया। इनमें ह्रदय नारायण दीक्षित और उदयराज यादव चार बार विधायक चुने गए।
वर्ष 2017 के चुनाव में अनिल सिंह बसपा के टिकट पर यहां से चुनाव लड़े और सपा को हराया। हालांकि वह बाद में भाजपा के खेमे में शामिल होकर सत्ता के साथ हो लिए। वर्ष 1980 के बाद से इस सीट पर कांग्रेस जीत हासिल नहीं कर सकी है।
अब इस सीट पर शायर मुनव्वर राणा की बेटी उरुशा इमरान राणा मैदान में हैं। उन्होंने कांग्रेस पार्टी की ओर से नामांकन में दाखिल कर दिया है और प्रचार-प्रसार तेज कर दिया है। अब देखना यह होगा कि 10 मार्च को यह 42 सालों का रिकार्ड तोड़ेंगे या फिर जनता किसी और पर भरोसा करेगी।
क्या है जातीय समीकरण :
लोधी- 82 हजार
यादव -69 हजार
ब्राहम्ण -47 हजार
मुस्लिम -34 हजार
रावत -38 हजार
क्षत्रिय 22 हजार।
कौन-कब रहा विधायक
1951- रामधीन सिंह - कांग्रेस
1957- परमेश्वरदीन वर्मा- निर्दलीय
1962- रामाधीन सिंह- कांग्रेस
1967- लाखन - भारतीय जनसंघ
1969 - दुलारेलाल - कांग्रेस
1974 - गया सिंह - कांग्रेस
1977- चंद्रभूषण - जनता पार्टी
1980- गया सिंह - कांग्रेस
1985- एचएन दीक्षित - निर्दलीय
1989 - एचएन दीक्षित - जनता दल
1991 - एचएन दीक्षित - जनता पार्टी
1993 - एचएन दीक्षित - सपा
1996 - उदयराज यादव - सपा
2002 - उदयराज यादव - सपा
2007 - उदयराज यादव - सपा
2012 - उदयराज यादव - सपा
2017 - अनिल सिंह - बसपा