उत्तरप्रदेश की मुख्यमंत्री बहुजन समाज पार्टी (बसपा) अध्यक्ष मायावती ने केन्द्र की संप्रग सरकार की अगुवाई कांग्रेस पर प्रदेश को विकास योजनाओं के संचालन के वास्ते केन्द्रीय सहायता के लिए तरसाने का आरोप लगाते हुए कहा कि वह मदद मिली होती तो यह राज्य विकास के पथ पर दौड़ रहा होता।
मायावती ने यहां प्रदर्शनी मैदान पर आयोजित चुनावी जनसभा में कहा कि प्रदेश के पिछड़ेपन के लिए यहां करीब 40 साल तक शासन करने वाली कांग्रेस जिम्मेदार है। साथ ही राज्य को केन्द्रीय सहायता के लिए तरसाने का इल्जाम भी उसी के सिर पर है।
राज्य में अपनी सरकार के भ्रष्टाचार में डूबे होने के आरोपों को गलत बताते हुए उन्होंने कहा कि पिछले विधानसभा चुनाव में कुछ भ्रष्ट लोगों हमारे भोले-भाले लोगों को बरगला करके बसपा में घुस आए थे और वे चुनाव का टिकट लेने में भी कामयाब रहे थे। मायावती ने कहा कि उन तत्वों में से कुछ लोग चुनाव जीतकर मंत्री बनने में भी कामयाब हो गए। जब उनका भ्रष्टाचार सामने आया तो उन्हें पार्टी से हटा दिया गया।
भाजपा को आड़े हाथ लेते हुए उन्होंने कहा जब हमने उन भ्रष्ट तत्वों को अपनी पार्टी से निकाल दिया तो ईमानदारी की बड़ी-बड़ी बातें करने वाली अन्य पार्टियों ने उन लोगों का बाहें पसार कर स्वागत किया।
मायावती ने कहा कि भाजपा को भ्रष्टाचार पर बोलने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की अगुवाई वाली केन्द्र की संप्रग सरकार के दामन पर घोटालों के गहरे दाग पड़ चुके हैं और इस पार्टी को भी भ्रष्टाचार के खिलाफ कुछ नहीं बोलना चाहिए। (भाषा)