चुनाव आयोग मतदान के लिए लाख अपील करे लेकिन उत्तरप्रदेश के आजमगढ़ के सदर विधानसभा क्षेत्र के तमसा नदी के किनारे बसे हथिया गांव की जनता पुल नहीं तो वोट नहीं के मुद्दे पर मतदान का बहिष्कार करेगी।
इस बार प्रत्याशियों का आश्वासन जनता के गले के नीचे नहीं उतर रहा है। जनता ने कहा कि इस बार वोट मांगने वालों का स्वागत कुछ अलग ढंग से किया जाएगा।
आजमगढ़ जिले के सदर विधानसभा क्षेत्र का हथिया गांव जो तमसा नदी के किनारे पर स्थित है। इस गांव के लोग नाव से तो शहर में पांच मिनट में ही चले आते हैं लेकिन इन्हें सड़क मार्ग से आने के लिए घंटे भर का चक्कर लगाना पड़ता है।
इस गांव के लोग पिछले 60 वर्षो से तमसा नदी पर एक अदद पुल की आस लगाए बैठे है। हर चुनाव में इस गांव के लिए एक ही मुद्दा होता है। केवल पुल चाहिए। लेकिन हर बार आश्वासन मिलता है।
स्कूली बच्चों को स्कूल जाने में नाव ही एक मात्र सहारा है, रोजी रोटी के लिए सुबह से लेकर शाम तक आने जाने वाले भी सिर्फ नाव से ही आते-जाते हैं। ये नावे भी अपनी क्षमता से ज्यादा सवारी लेकर ही चलती है।
इसी चक्कर में वर्ष 2005 में एक बड़ा हादसा हुआ जिसमें 35 लोग डूब गए। इसके बाद भी यहां के जनप्रतिनिधियों की आंखे नहीं खुली।
सपा, बसपा हो या कांग्रेस, भाजपा सभी सरकारें इन 60 वर्षों में आई गई। अनेक नए पुराने प्रत्याशी भी आए लेकिन आश्वासन सिर्फ कोरा ही साबित हुआ। इस बार गांव वालों ने ठान लिया है मतदान का बहिष्कार हर कीमत पर करेंगे।
इसी कारण उन्होंने सरकारी बोर्ड हो या पत्थर, पक्के मकान हो या कच्चे मकान जहां लोग राजनीतिक दलों के झंडे टांगा करते थे इस बार इन सभी स्थानों पर सिर्फ एक ही स्लोगन लिखा है पुल नहीं तो वोट नहीं। इससे स्कूली बच्चे हों या ग्रामीण सभी आक्रोशित हैं।
स्कूल की छात्रा पूनम ने कहा कि पुल नहीं होने से आने जाने में भारी दिक्कत का सामना करना पड़ता है। नाव से जाने आने में खतरा बना रहता है। सुजीत भूषण ने कहा कि दो वर्षों से लगातार आंदोलन चल रहा है।
आजमगढ़ के जिलाधिकारी कार्यालय से लेकर विधानसभा के दरवाजे तक प्रदर्शन कर दस्तक दी गई। अब बस एक ही रास्ता बचा है वोट का बहिष्कार।
इस पुल की मांग को लेकर चार पांच माह पूर्व इस गांव के लोगों ने अधिकारियों से लेकर नेताओं तक का घेराव किया लेकिन किसी ने उनकी बात को आश्वासन के अलावा कुछ नहीं किया। इस क्षेत्र का प्रतिनिधित्व सपा विधायक दुर्गा प्रसाद यादव करते हैं।
सपा की तीन बार सरकार रही लेकिन हुआ कुछ नहीं। चार पांच माह पहले जब बसपा के विधायक एवं सदर विधानसभा के प्रत्याशी सर्वेश सिंह सिपु का घेराव हुआ तो उन्होंने भी वोट की लालच में इन ग्रामीणों की बात को प्रदेश की मुख्यमंत्री तक पहुंचाने का वादा किया। (वार्ता)