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700 साल बाद इस दिवाली लक्ष्मी पूजा पर 5 राजयोग, 3 शुभ योग और 1 सर्वश्रेष्ठ मुहूर्त

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Diwali 2023 Timings Shubh Muhurat: 12 नवंबर 2023 रविवार के दिन दिवाली का पर्व मनाया जा रहा है। ज्योतिष मान्यता के अनुसार इस दिन 700 साल बाद 5 राजयोग, 3 शुभ योग और 1 सर्वश्रेष्ठ मुहूर्त में माता लक्ष्मी की पूजा होगी। यानी कुल 8 दुर्लभ संयोग और 1 मुहूर्त में में पूजन करने से स्थायी रूप से माता लक्ष्मी का घर में वास होगा। इसके लिए स्थिर लग्न में पूजन करना भी उत्तम माना गया है।
 
अमावस्या तिथि:-
अमावस्या तिथि प्रारंभ : 12 नवंबर 2023, रविवार को दोपहर 02:44 से प्रारंभ।
अमावस्या तिथि समाप्त : 13 नवंबर 2023, सोमवार को दोपहर 02:56 पर समाप्त।
नोट : दीपावली का पर्व चूंकि रात में मनाए जाने का महत्व है और अमावस्या तिथि रात में ही व्याप्त रहेगी इसलिए 12 नवंबर को दिवाली मनाना उचित रहेगा।
 
दिवाली पर 5 राजयोग:- इस दिवाली पर गजकेसरी, हर्ष, उभयचरी, काहल और दुर्धरा नामक राजयोग बन रहे हैं।
 
दिवाली पर 3 शुभ योग:- इस दिवाली आयुष्यमान, सौभाग्य और महालक्ष्मी योग भी बन रहे हैं।
 
दिवाली पर 1 सर्वश्रेष्ठ मुहूर्त:- शाम 05:39 से 07:35 के बीच।
 
लक्ष्मी पूजा का महानिशीथ काल मुहूर्त : रात्रि 23:39 से 24:32 के बीच।
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लक्ष्मी पूजा के अन्य शुभ मुहूर्त- 
अभिजीत मुहूर्त : दोपहर 11:43 से 12:27 तक।
पूजा काल : शाम को 06:12 से रात्रि 08:12 तक।
प्रदोष काल: शाम को 06:01 से रात्रि 08:34 तक।
वृषभ काल: शाम को 06:12 से रात्रि 08:12 तक।
नोट: स्थानीय समयानुसार मुहूर्त के समय में घट-बढ़ रहती है।
 
दिवाली पर दिन का चौघड़िया मुहूर्त:-
लाभ : सुबह 09:23 से 10:44 तक।
अमृत : सुबह 10:44 से 12:05 तक।
शुभ : दोपहर 01:26 से 02:47 तक।
 
दिवाली पर रात का चौघड़िया मुहूर्त:-
शुभ : शाम 05:29 से 07:08 तक।
अमृत : रात्रि 07:08 से 08:47 तक।
लाभ : रात्रि 01:44 से 03:24 तक।
 
महालक्ष्मी पूजन वृष, सिंह, वृश्चिक व कुम्भ स्थिर लग्न होती है। इस वर्ष के स्थिर लग्न मुहूर्त निम्न है-
 
स्थिर लग्नानुसार:-
अपराह्न- 1:24 से 2:55 तक (कुम्भ लग्न)
सायंकाल- 6:00 से 7:57 तक (वृषभ लग्न)
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