भगवान शनि से सब भयभीत रहते हैं। लेकिन वे सात्विक और नेकी पर चलने वालों को कभी दंडित नहीं करते, पर अगर आप शनि पूजा कर रहे हैं तो यह 6 सावधानियां अवश्य याद रखें वरना अनजाने में आप शनिदेव को नाराज कर सकते हैं।
1 : तांबे के बर्तन से न करें पूजा
शनिदेव की पूजा के दौरान भूल से भी तांबे के बर्तनों का प्रयोग नहीं करना चाहिए। तांबा का संबंध सूर्यदेव से है और सूर्यपुत्र होने के बावजूद शनिदेव सूर्य के परम शत्रु हैं। शनिदेव की पूजा में हमेशा लोहे के बर्तनों का प्रयोग करना चाहिए।
2: इन रंगों से बचें
शनिदेव की पूजा के दौरान नीले या काले रंगों का ही प्रयोग करना चाहिए। लाल रंग या लाल फूल का भी प्रयोग कतई न करें। लाल रंग मंगल का परिचायक है और मंगल भी शनि के शत्रु ग्रह हैं।
3: दिशा का रखें ध्यान
शनि देव की पूजा में दिशा का ध्यान रखना जरूरी है। आमतौर पर पूर्व की तरफ मुख कर पूजा की जाती है, लेकिन शनिदेव की पूजा पश्चिम दिशा की ओर मुंह कर करना चाहिए। इसका कारण यह है कि शनिदेव के पश्चिम दिशा का स्वामी माना गया है।
4: न देखें शनिदेव की आंखों में
शनिदेव की पूजा के वक्त उनकी प्रतिमा के सामने खड़े होकर कभी प्रार्थना नहीं करनी चाहिए। इतना ही नहीं उनकी आंखों में भी नहीं देखना चाहिए। प्रार्थना के वक्त इन बातों का ध्यान न रखने से उनकी दृष्टि सीधे आप पर पड़ती है और आप अनजाने ही शनिदेव के कोप के शिकार हो जाते हैं।
5: : स्वच्छता जरूरी है
शनिदेव की पूजा के दौरान सफाई का ध्यान जरुरी है। उनकी पूजा कभी गंदगी भरे माहौल या गंदे कपड़े पहनकर नहीं करना चाहिए।
6: सिर्फ यही भोग लगाएं
शनिदेव को प्रसन्न रखना हो तो प्रत्येक शनिवार उन्हें काले तिल और खिचड़ी का भोग लगाना चाहिए।