पंजाब में मतदान से ठीक पहले 'आतंकवाद' और 'खालिस्तानी' जैसे शब्द दोबारा सुनाई दिए हैं। वहां चुनाव में एक बार फिर से राजनीतिक पार्टियों के बीच खालिस्तानी अलगाववादियों से मेलजोल रखने को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है। मौर मंडी में हुए धमाके के बाद गुरुवार को कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने केजरीवाल पर आरोप लगाया था कि वह पंजाब को अस्थिर करने में मदद कर रहे हैं। इस धमाके में 6 लोग मारे गए थे।
दूसरी तरफ, पंजाब के चरमपंथी हिंसा के दौर में पुलिस प्रमुख रहे केपीएस गिल ने भी कहा कि चुनाव से पहले मौर मंडी विस्फोट काफी चिंताजनक है। उन्होंने 'इंडियन एक्सप्रेस' से कहा कि पंजाब की राजनीति में आम आदमी पार्टी के आने से विदेशों में रह रहे कट्टर सिखों को एक मंच मिला है।...पंजाब में चरमपंथ को खत्म करने में गिल की अहम भूमिका रही थी। हालांकि इसे लेकर काफी विवाद भी हुआ था।
केपीएस गिल ने कहा, ''दरअसल, मैं इसकी आशंका इसलिए जता रहा हूं क्योंकि कुछ राजनीतिक पार्टियों की गतिविधियों से इन्हें मदद मिलेगी। विदेशों में रहने वाले कट्टर सिखों में भारी निराशा है क्योंकि वे बुरी तरह से नाकाम रहे हैं। अब ये आम आदमी पार्टी के साथ आ रहे हैं। उन्हें लगता है कि फिर से ज़मीन हासिल करने के लिए यह बढ़िया मौका है।''... वैसे गिल ने कहा कि हो सकता है कि आम आदमी पार्टी को इसके बारे में पता नहीं हो।
इंस्टीट्यूट ऑफ कॉन्फ्लिक्ट मैनेजमेंट के निदेशक अजय साहनी ने गिल के आरोप पर बीबीसी से कहा, "एक अरसे से विदेशी जमीन पर खालिस्तानियों की मौजूदगी रही है। आम आदमी पार्टी को जो चंदा मिल रहा है वह काफी संदिग्ध है। इनमें खालिस्तानी एलिमेंट्स शामिल हैं। खालिस्तानी अलगाववादियों को लेकर जो अकालियों का दोहरा व्यवहार रहा था, उससे उन्हें काफी नुकसान उठाना पड़ा था। इसलिए अकालियों ने उस राजनीति से पिंड छुड़ा लिया। अब इस राजनीति के करीब आम आदमी पार्टी जा रही है।''
राहुल गांधी के आरोप पर केजरीवाल ने ट्वीट कर जवाब दिया है। उन्होंने अपने ट्वीट में कहा, ''राहुल ने अपने भाषण में सुखबीर बादल और मजीठिया का नाम नहीं लिया। आप केवल मुझे कोसते हैं। क्या मैं नशे के खेल में बाधा बन रहा हूं? क्या राहुल मुझसे डर गए हैं?''
इससे पहले सुखबीर सिंह बादल भी केजरीवाल पर कट्टरवादियों से संबंध रखने का आरोप लगा चुके हैं। पिछले हफ़्ते अपने पंजाब दौरे पर केजरीवाल विवादों में आ गए थे। वह खालिस्तान लिबरेशन फ्रंट (केएलएफ़) के नेता गुरविंदर सिंह के घर रुके थे। गुरविंदर केएलएफ़ के पूर्व प्रमुख रहे हैं। पंजाब में जब चरमपंथी घटनाएं शिखर पर थीं तब गुरविंदर पर हिन्दुओं और सिखों के बीच दंगे भड़काने का आरोप लगा था। हत्या और अन्य संगीन आरोपों में गुरविंदर जेल भी जा चुके हैं। वह रिहा होने के बाद इंग्लैंड चले गए थे। आरोप है कि वह इंग्लैंड से केएलएफ के लिए काम करते हैं।
कांग्रेस के सीनियर नेता दिग्विजय सिंह ने भी इस मामले में ट्वीट कर अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधा है। उन्होंने अपने ट्वीट में कहा, ''अरविंद केजरीवाल खतरनाक खेल खेल रहे हैं। मैंने इसकी आशंका भी जताई थी। केजरीवाल ने कनाडा के वैसे लोगों से भारी रकम जुटाई है।''
दिग्विजय सिंह के जवाब में आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता आशुतोष ने कहा, ''दिग्विजय सिंहजी पंजाब के लोग आपकी पार्टी की भूमिका के बारे में बखूबी जानते हैं। लोग आप पर हंस रहे हैं, सर!''