दंगल गर्ल जायरा वसीम ने 30 जून को सोशल मीडिया पर बॉलीवुड छोड़ने की घोषणा करने के साथ सभी को हैरान कर दिया। उन्होंने अपने पोस्ट में लिखा कि एक्टिंग उन्हें अपने धर्म और ईमान से दूर कर रहा थी। जायरा वसीम की इस पोस्ट के बाद सोशल मीडिया पर जमकर बहस शुरू हो गई है।
जायरा वसीम के अचानक से इंडस्ट्री छोड़ने से बॉलीवुड के कई सेलेब्स हैरान हैं। कुछ का मानना है कि एक्टिंग छोड़ना जायरा की च्वॉइस हो सकती है लेकिन धर्म को वजह बताना सही नहीं है। वहीं, कुछ उनके समर्थन में भी हैं।
जायरा के इस फैसले के बाद रवीना टंडन ने ट्विटर पर लिखा, 'कोई फर्क नहीं पड़ता अगर वो लोग जिन्होंने महज 2 फिल्मों में काम किया है, इस इंडस्ट्री के प्रति कृतज्ञता महसूस नहीं करते हैं कि उन्हें यहां क्या-क्या मिला है। इस इंडस्ट्री में कोई भेदभाव नहीं है, यहां हर धर्म, जाति और हर जगर से आए लोग कंधे से कंधा मिलाकर काम करते हैं। आशा करिए कि वो शांति के साथ यहां से निकल जाएं और अपनी सोच को खुद तक ही सीमित रखें।'
जायरा वसीम के पोस्ट पर फिल्म दंगल के निर्देशक नितीश तिवारी ने हैरानी जताते हुए कहा, मुझे मालूम पड़ा कि जायरा ने ये फैसला लिया है। मेरे लिए ये हैरान कर देने वाली बात है। ये ऐसी उम्मीद नहीं है। लेकिन आखिर में ये उसकी जिंदगी का फैसला है कि वो आगे कैसे बढ़ना चाहती है। हां हमें जायरा के इंडस्ट्री से जाने का दुख रहेगा, क्योंकि वो एक शानदार कलाकार है।
लेखिका तस्लीमा ने लिखा जायरा के इस फैसले को बेवकूफाना बताते हुए लिखा, 'मेरे रोंगटे खड़े हो गए! बॉलीवुड की प्रतिभाशाली एक्ट्रेस जायरा वसीम अब अभिनय छोड़ना चाहती हैं क्योंकि उन्हें लगता है कि उनके अभिनय करियर ने अल्लाह में उनके विश्वास को लगभग खत्म कर दिया है। क्या नैतिक निर्णय है! मुस्लिम समुदाय की कई प्रतिभाएं बुर्के के अंधेरे में जाने को मजबूर हैं।'
कश्मीर से ताल्लुक रखनेवाले एक्टर इकबाल खान ने लिखा, जायरा वसीम एक्टिंग छोड़ना चाहती हैं इसमें बड़ी बात क्या है, ये उनकी च्वॉइस है। हो सकता है कि वो जो कर रही थी वो गलत था और वो उसे नहीं करना चाहती। मैं एक एक्टर हूं, मैं कुछ गलत नहीं कर रहा और ये सब मुझे मेरे धर्म का पालन करने से नहीं रोकता।
जायरा वसीम के एक्टिंग छोड़ने के फैसले पर राजनीतिक प्रतिक्रियाएं भी आने लगी हैं। जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री और नेशनल कांफ्रेस के नेता उमर अब्दुल्ला ने जहां जायरा के फैसले का समर्थन किया है।
उमर अब्दुल्ला ने ट्विटर पर लिखा, उनकी पसंद पर सवाल उठाने वाले हम कौन हैं? यह उनका जीवन है और उसके साथ वो जैसा चाहती हैं वैसा कर सकती हैं। मैं बस उनकी खुशी की कामना करता हूं और आशा करता हूं कि जो वह जो करेंगी, उसे उन्हें खुशी मिले।
शिवसेना ने जायरा के धर्म के नाम पर अभिनय की दुनिया को छोड़ने के फैसले की आलोचना की। बीजेपी ने भी जायरा वसीम के फिल्म लाइन छोड़ने के फैसले को दबाव में लिया फैसला बताया। बीजेपी प्रवक्ता शाहनवाज हुसैन ने कहा कि, 'धर्म के आधार पर एक्टिंग छोड़ने का फैसला दबाव में लिया हुआ फैसला लग रहा है। वह लगातार कट्टरपंथी समूहों के निशाने पर भी थीं।'
जायरा ने क्या लिखा था?
जायरा ने अपनी पोस्ट में लिखा, '5 साल पहले मैंने जो फैसला लिया उसने मेरी जिंदगी पूरी तरह बदल दी। मैंने बॉलीवुड में कदम रखा तो इसने मेरे लिए बेशुमार शौहरत के दरवाज़े खोल दिए। मैं पब्लिक अटेंशन पाने लगी। मुझे एक रोल मॉडल की तरह देखा जाने लगा, लेकिन ये वो नहीं था जो मैं चाहती थी। अब जबकि मुझे फिल्म इंडस्ट्री में पांच साल हो चुके हैं। मैं यह बात कुबूल करना चाहती हूं कि मैं अपनी इस पहचान और काम से खुश नहीं हूं। लंबे समय से काम करते हुए ये अहसास हो रहा है कि मैं कुछ और बनने के लिए जूझती आ रही हूं।
उन्होंने सोशल मीडिया पर 6 पन्ने की पोस्ट में कुरान का भी जिक्र किया है। उनका कहना है कि यह रास्ता उन्हें अल्लाह से दूर कर रहा है। हालांकि सोशल मीडिया पर फैंस के बीच यह भी चर्चा है कि जायरा ने यह पोस्ट किसी दबाव में लिखा है।
जायरा वसीम ने साल 2016 में फिल्म 'दंगल' से अपने करियर की शुरुआत की। जायरा जल्द ही सोनाली बोस की फिल्म द स्काई इज पिंक में प्रियंका चोपड़ा और फरहान अख्तर के साथ नजर आएंगी।