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नेशनल अवॉर्ड लेने जाने के लिए मिथुन चक्रवर्ती के पास नहीं थे पैसे, रेखा के स्पॉटबॉय बनकर पहुंचे थे दिल्ली

हमें फॉलो करें नेशनल अवॉर्ड लेने जाने के लिए मिथुन चक्रवर्ती के पास नहीं थे पैसे, रेखा के स्पॉटबॉय बनकर पहुंचे थे दिल्ली

WD Entertainment Desk

, रविवार, 16 जून 2024 (12:26 IST)
Mithun Chakraborty Birthday : बॉलीवुड के जाने-माने अभिनेता मिथुन चक्रवर्ती 74 वर्ष के हो गए हैं। 16 जून 1950 को कोलकाता शहर में जन्में मिथुन चक्रवर्ती का मूल नाम गौरांग चक्रवर्ती हैं। उन्होंने स्नातक की शिक्षा कोलकाता के मशहूर स्कॉटिश चर्च से पूरी की। मिथुन चक्रवर्ती अपने जीवन के शुरूआती दौर में वामपंथी विचारधारा से काफी प्रभावित रहने के कारण नक्सलवाद से जुड़े रहे लेकिन अपने भाई की असमय मृत्यु से उन्होंने नक्सलवाद का रास्ता छोड़ दिया और पुणे फिल्म संस्थान में दाखिला ले लिया।
 
सबसे पहले निर्देशक मृणाल सेन की नजर मिथुन पर पड़ी थी। लड़कियों के साथ फ्लर्ट करने का मिथुन का अंदाज मृणाल को पसंद आया और दो साल बाद उन्होंने अपनी फिल्म 'मृगया' के लिए मिथुन को कास्ट कर लिया। वर्ष 1976 में रिलीज फिल्म 'मृगया' बतौर अभिनेता मिथुन चक्रवर्ती के सिने करियर की पहली फिल्म थी। 
 
फिल्म में उन्होंने एक ऐसे संथाली युवक मृगया की भूमिका निभाई जो अंग्रेजी हूकुमत द्वारा अपनी पत्नी के यौन शोषण के विरूद्ध आवाज उठाता है। फिल्म में उन्हें दमदार अभिनय के लिये सर्वश्रेष्ठ अभिनेता के राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। 
 
अवॉर्ड को लेने के लिए दिल्ली जाने के लिए मिथुन के पास पैसे नहीं थे। उन दिनों रेखा दिल्ली में फिल्म की शूटिंग करने जा रही थीं। उन्होंने अपना स्पॉटबॉय बनाकर फ्लाइट में उनका टिकट बुक करवाया और मिथुन को लेकर दिल्ली गईं। फिल्म मृगया की सफलता के बावजूद मिथुन चक्रवर्ती को बतौर अभिनेता काम नहीं मिल रहा था। आश्वासन तो सभी देते लेकिन उन्हें काम करने का अवसर कोई नही देता था। इस बीच मिथुन चक्रवर्ती को दो अंजाने, फूल खिले है गुलशन गुलशन जैसी कुछ फिल्मों में छोटी सी भूमिका निभाने का मौका मिला लेकिन इन फिल्मों से उन्हें कोई खास फायदा नहीं पहुंचा।
 
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साल 1979 में मिथुन चक्रवर्ती को रविकांत नगाईच की फिल्म 'सुरक्षा' में काम करने का मौका मिला जो उनके सिने करियर की पहली हिट फिल्म साबित हुई। मारधाड़ और एक्शन से भरपूर इस फिल्म में मिथुन चक्रवर्ती एक जासूस की भूमिका में थे। उनका यह अंदाज सिने प्रेमियों को काफी पसंद आया। बाद में वर्ष 1982 में इस फिल्म का सीक्वल वारदात बनाया गया।
 
मिथुन चक्रवर्ती की किस्मत का सितारा वर्ष 1982 में प्रदर्शित फिल्म 'डिस्को डांसर' से चमका। नाच गाने से भरपूर इस फिल्म में मिथुन चक्रवर्ती ने डिस्को डांसर की भूमिका में दिखाई दिए। बेहतरीन गीत-संगीत और अभिनय से सजी बी सुभाष निर्देशित इस फिल्म की जबरदस्त कामयाबी ने अभिनेता मिथुन चक्रवर्ती को स्टार के रूप में स्थापित कर दिया। फिल्म डिस्को डांसर की सफलता के बाद मिथुन चक्रवर्ती की छवि एक डांसिग स्टार के रूप में बन गई।
 
इस फिल्म के बाद निर्माता निर्देशकों ने अधिकतर फिल्मों में मिथुन चक्रवर्ती की डांसिग अभिनेता की छवि को भुनाया। इन फिल्मों में कसम पैदा करने वाले की, डांस डांस जैसी फिल्में शामिल है। अस्सी के दशक में मिथुन चक्रवर्ती उन निर्माताओं की पहली पसंद बन गए जो कम बजट की पारिवारिक फिल्म बनाते थे। इस दौर में वह फिल्म निर्माताओं के लिए 'गरीबों का अमिताभ' बनकर उभरे और कई सफल फिल्मों में काम करके दर्शको का मनोरंजन करने में सफल रहे। 
 
मिथुन को गरीबों का अमिताभ बच्चन कहा जाता था। इस पर रिएक्शन देते हुए मिथुन ने एक इंटरव्यू के दौरान कहा था, यह मेरी अब तक की सबसे बड़ी तारीफ है। अमिताभ सदी के सबसे बड़े स्टार हैं। अमिताभ बड़े बैनर की फिल्में करते थे और मैं छोटी बजट की फिल्में करता था। बजट के हिसाब से दोनों फिल्मों की कमाई हो जाती थी। नब्बे के दशक के आखिरी वर्षो में उन्होंने फिल्म इंडस्ट्री से कुछ हद तक किनारा कर लिया और उटी चले गये जहां वह होटल व्यवसाय करने लगे, हालांकि इस दौर में भी उन्होंने फिल्म इंडस्ट्री से अपना नाता पूरी तरह से नही तोड़ा और फिल्मों में अभिनय कर दर्शको का मन मोहते रहे।
 
अभिनय में एकरूपता से बचने और स्वयं को चरित्र अभिनेता के रूप में भी स्थापित करने के लिए मिथुन चक्रवर्ती ने खुद को विभिन्न भूमिकाओं में पेश किया। इस क्रम में वर्ष 2005 में प्रदर्शित फिल्म एलान में ग्रे शेडस निभाकर अपने सिने करियर की दूसरी पारी शुरु की। वर्ष 2005 में ही मणिरत्नम की फिल्म गुरू में उनके अभिनय का नए आयाम देखने को मिले। मिथुन चक्रवर्ती के सिने करियर पर नजर डाले तो पायेगे वह मल्टी स्टारर फिल्मों का अहम हिस्सा रहे है। 
 
जब कभी फिल्म निर्माताओ को ऐसी फिल्मों में अभिनेता की जरूरत होती वह मिथुन चक्रवर्ती को नजर अंदाज नहीं कर पाते। मिथुन चक्रवर्ती को बुद्धदेव दासगुप्ता की बंगाली फिल्म ‘तहादेर कथा’ के लिए दूसरा नेशनल अवॉर्ड मिला। उन्हें फिल्म ‘स्वामी विवेकानंद’ के लिए सहायक अभिनेता का नेशनल अवार्ड भी मिला है।
 
मिथुन चक्रवर्ती ने अपने सिने करियर में सभी नामचीन अभिनेत्रियों के साथ काम किया है लेकिन रूपहले पर्दे पर उनकी जोड़ी रंजीता के साथ खासी पसंद की गई। इसके अलावा मिथुन चक्रवर्ती की जोड़ी श्रीदेवी, पद्मिनी कोल्हापुरी और जीनत अमान के साथ भी पसंद की गई। 
 
मिथुन चक्रवर्ती अपने सिने करियर में अब तक दो बार फिल्म फेयर पुरस्कार से नवाजे जा चुके है। मिथुन चक्रवर्ती को कला के क्षेत्र में विशेष योगदान के लिए पद्म भूषण से सम्मानित किया गया है। मिथुन चक्रवर्ती अपने सिने करियर में 350 से अधिक फिल्मों में अभिनय किया है। मिथुन चक्रवर्ती आज भी जोशो-खरोश के साथ फिल्मों में काम कर रहे हैं।

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