26 मई 2021 बुधवार के दिन है बुद्ध पूर्णिमा। आनंद, अनिरुद्ध, महाकश्यप, रानी खेमा (महिला), महाप्रजापति (महिला), भद्रिका, भृगु, किम्बाल, देवदत्त, उपाली, सारिपुत्र, मोंगलियान आदि। इन्हीं में से तीन प्रमुख थे महाकश्यप, सारिपुत्र और मोंगलियान। आओ जानते हैं कि सारिपुत्र कौन थे।
सारिपुत्र (sariputra):
1. गौतम बुद्ध के हजारों शिष्यों में से एक सारिपुत्र की गणना प्रमुख शिष्यों में की जाती थी।
2. सारिपुत्र का जन्म एक ब्राह्मण परिवार में हुआ था और वे राजगृह में निवास करते थे।
3. सारिपुत्र बुद्ध के प्रबुद्ध और प्रज्ञावान शिष्य थे जो बुद्ध के दर्शन को भलिभांति समझकर उसका संचालन करते थे।
4. स्थविर सारिपुत्र के संबंध में मिलिंदपन्हो ग्रंथ में बताया गया है कि वे कितने महान थे।
5. सारिपुत्र की मृत्यु पर महात्मा बुद्ध ने कहा था- 'यह भिक्षु संतुष्ट, प्रविविक्त, असंतुष्ट, उद्योगी, पापनिंदक था। इस वीतराग, जितेंद्रीय, निर्वाण प्राप्त सारिपुत्र की वंदना करो।'
6. सारिपुत्र के बारे में मज्जिम निकाय और संयुक्तनिकाय में वर्णन मिलता है।
7. सारिपुत्र के भी कई शिष्य थे जिनको उन्होंने महात्मा बुद्ध से मिलवाया था।