- 2018 में सुप्रीम कोर्ट का आदेश
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पुराने डीजल और पेट्रोल वाहनों पर प्रतिबंध
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कोर्ट ने जब्ती का भी दिया आदेश
नई दिल्ली। Over 54 lakh overage vehicles deregistered in Delhi : दिल्ली के परिवहन विभाग ने परिचालन की अवधि को पार कर चुके 54 लाख से अधिक वाहनों का 27 मार्च तक पंजीकरण रद्द कर दिया है। इनमें ऑटो रिक्शा, कैब और दोपहिया वाहन भी शामिल हैं। विभाग के अनुसार जिन वाहनों का पंजीकरण रद्द किया गया है उनमें कुछ ऐसे वाहन हैं जिन्हें वर्ष 1900 और 1901 में पंजीकृत कराया गया था।
2018 में सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली में क्रमश: 10 वर्ष और 15 वर्ष पुराने डीजल एवं पेट्रोल वाहनों पर प्रतिबंध लगा दिया था। न्यायालय ने कहा था कि आदेश का उल्लंघन करने वाले वाहनों को जब्त कर लिया जाए।
राष्ट्रीय हरित अधिकरण के 2014 के आदेश में 15 वर्ष पुराने वाहनों को सार्वजनिक स्थानों पर खड़ा करने की मनाही की गयी है।
परिवहन विभाग के अनुसार साउथ दिल्ली पार्ट वन में सबसे अधिक वाहनों का पंजीकरण रद्द किया गया है। वहां 27 मार्च तक 9,285 तिपहिया वाहनों तथा 25,167 कैब का पंजीकरण रद्द किया गया।
मॉल रोड जोन में 2,90,127 वाहनों, आईपी डिपो में 3,27,034 वाहनों, साउथ दिल्ली पार्ट वन में 9,99,999 वाहनों, साउथ दिल्ली पार्ट टू में 1,1,69,784 वाहनों , जनकपुरी में 2, 7,06,921 वाहनों, लोनी में 4,35,408 वाहनों, सराय काले खां में 4,96,086 वाहनों, मयूर विहार में 2,99,788 वाहनों, वजीरपुर में 1,65,048 वाहनों, द्वारका में 3,04,677 , बुराड़ी में 25,167, राजागार्डन में 1,95,626 वाहनों तथा रोहिणी जोन में 6,56,201 वाहनों का पंजीकरण रद्द किया गया।
परिवहन विभाग ने परिचालन अवधि पूरा कर चुके वाहनों को कबाड़ में भेजने के लिए 29 मार्च को अभियान शुरू किया था।
परिवहन आयुक्त आशीष कुंद्रा ने कहा कि परिचालन अवधि पार चुके वाहनों के लिए एनओसी (अनापत्ति प्रमाण-पत्र) प्राप्त करने और उस राज्य में बेचने का अनुरोध है जहां वे चलने (परिचालन) के लायक हैं। यदि ये वाहन यहां सड़कों पर खड़े मिलेंगे तो उन्हें कबाड़ में दिए जाने का खतरा है। दिल्ली की सड़कों पर 2021-22 में 79.18 लाख वाहन पंजीकृत थे। भाषा Edited By : Sudhir Sharma