Chandrayaan-3's successful landing : बचपन से हम एक कविता सुनते आ रहे है 'चंदा मामा दूर के पुए पकाए बूर के, आप खाए थाली में, मुन्ने को दे प्याली में, आप खाए थाली में, मुन्ने को दे प्याली में... लेकिन अब चंदामामा भारत से दूर नहीं हैं। आज इसरो ने चन्द्रयान-3 की सफल लैंडिंग करके चंदामामा से और घनिष्ठ नाता जोड़ लिया है, अब वो दिन दूर नहीं है, जब भारतवासी चंद्रमा पर टूर करेंगे।
भारत के जनमानस का चंद्रमा से दिल का रिश्ता है। हजारों कहावतों, गीतों, कविताओं और तीज-त्योहारों में मामा हमें याद आते हैं। शिव के मस्तिष्क पर सुशोभित चांद हमारी श्रद्धा है। चौहदवीं का चांद हो, पति की लंबी आयु के लिए सुहागनों द्वारा चंद्रअर्क हो या ईद हो, हमारे मामा चांद हमारे मन मस्तिष्क में राज करते हैं।
चांद हमारे रिश्तेदार हैं लेकिन रहस्यमयी भी, चांद के रहस्यों को जानने के लिए दुनिया आतुर है और आज इसी चन्द्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर पहली बार चंद्रयान 3 की सफल लैंडिंग होते ही पूरा भारतवर्ष जश्न में डूब गया। चंद्रयान 3 का चांद से मिलन बुधवार शाम 6 बजकर 4 मिनट पर तय समय में हुआ जिसके बाद चांद हमारा हुआ!
चांद पर चंद्रयान 3 पहुंचने के पहला संदेश आया। आपको, हमको, सबको बधाई। चंद्रयान ने बताया कि मैं मंजिल पर पहुंच गया हूं। चंद्रयान 3 आगामी 14 दिनों तक चांद के साथ गलबहियां करते हुए चंदा मामा की महत्वपूर्ण जानकारी और तस्वीरें देश से साझा करेगा। चंद्रयान 3 की सफल लैंडिंग इसरो की दिन-रात की मेहनत का परिणाम है।
चंद्रयान 3 की लैंडिंग के लिए पूरे देश में सभी धर्मों के लोगों द्वारा पूजा-प्रार्थना की जा रही थी, जैसे ही चंद्रयान का चंद्रमा के दक्षिणी छोर से मिलन हुआ तो संत नगरी हरिद्वार में निरंजनी अखाड़े में साधु-संतों ने फूलों से होली खेलकर शुभकामनाएं दीं।
40 दिन पूर्व जब चंद्रयान 3 इसरो के द्वारा अंतरिक्ष में भेजा गया था तभी से निरंजनी अखाड़े के साधु-संतों ने मायापुर स्थित मनसा देवी चरण पादुका स्थल पर विशेष पूजा-अर्चना करके सफल होने का आशीर्वाद दिया था। वहीं काशी में बाबा की भस्म आरती की गई और मां गंगा के तट पर दीप श्रृंखला बनाते हुए चंद्रयान 3 लिखा गया। संत-साधु शाम होते ही टीवी खोलकर चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग देखते नजर आए।
जैसे ही मिलन हुआ तो सभी संतों ने हाथ में तिरंगा लहराते हुए भारत मां के जयकारे लगाने शुरू कर दिए। अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष श्री महंत रविंद्रपुरी महाराज ने कहा कि चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग ने भारत का नाम रोशन कर दिया है, इसके लिए हम इसरो के वैज्ञानिकों और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभार व्यक्त करते हैं।
देश के सभी स्कूलों और मदरसों में चंद्रमा और चंद्रयान मिलन दिखाने की विशेष व्यवस्था की गई थी, अधिकांश स्कूलों में सुबह छुट्टी रखी गई और शाम को चंद्रयान 3 की लैंडिंग छात्रों को लाइव दिखाई गई। हिन्दू, मुस्लिम, सिख और ईसाई सभी धर्मों के छात्र इस ऐतिहासिक पल के साक्षी बने।
जैसे ही चंद्रमा में चंद्रयान 3 ने प्रवेश किया तो मेरठ समेत आसपास के जिलों में तालियों की गडगडाहट सुनाई देने लगी। बच्चे-बूढ़े सभी थिरकते हुए नजर आए। मेरठ के मदरसों में चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग के बाद जश्न मनाते हुए लड्डू बांटे गए और छात्रों ने देशभक्ति के गीत गुनगुनाते हुए इस पल को यादगार बना दिया।