इंदौर (मध्यप्रदेश)। देश में रेड जोन में शुमार इंदौर में बुधवार को 78 पॉजिटिव मामले सामने आए। इसके बाद शहर में संक्रमितों की कुल संख्या 3260 पर पहुंच गई है। आज 18 मरीज कोरोना वायरस से स्वस्थ होकर घर लौटे। कोरोना से अब तक इंदौर में 122 लोगों की मौत हो चुकी है।
इंदौर की हालत बद से बदतर होती जा रही है। यही कारण है कि इंदौर के कलेक्टर मनीष सिंह को कहना पड़ा है कि 31 मई के बाद भी शहर में प्रतिबंधात्मक आदेश जारी रहेंगे।
जिला प्रशासन हालांकि लॉकडाउन के दौरान अलग-अलग क्षेत्रों में लगातार छूट दे रहा है। लेकिन उसका कहना है कि महामारी के संक्रमण को रोकने के लिए खासकर शहरी सीमा में कर्फ्यू और अन्य प्रतिबंधात्मक आदेश 31 मई के बाद भी लागू रहेंगे।
कोरोना वायरस को लेकर लागू देशव्यापी लॉकडाउन का चौथा चरण 31 मई को समाप्त हो रहा है। हालांकि कोविड-19 का प्रकोप कायम रहने के कारण इंदौर जिला रेड जोन में बना हुआ है और यहां न केवल मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा है बल्कि मौतों का आंकड़ा भी थमने का नाम नहीं ले रहा है।
कलेक्टर मनीष सिंह ने कहा कि आम लोगों की जरूरतों को देखते हुए हम लॉकडाउन में लगातार छूट देते हुए विभिन्न गतिविधियां बहाल कर रहे हैं, लेकिन खासकर शहरी सीमा में 31 मई के बाद भी कर्फ्यू और अन्य प्रतिबंधात्मक आदेश लागू रहेंगे। शहर में केवल उन्हीं गतिविधियों से जुड़े लोगों को घर से बाहर निकलने की अनुमति मिलेगी, जिन्हें हमने हरी झंडी दी है।
मनीष सिंह के अनुसार शहर के निजी दफ्तरों को अलग-अलग श्रेणियों में बांटकर 33 प्रतिशत कर्मचारियों के साथ दोबारा खोलने की अनुमति दिए जाने पर विचार किया जा रहा है, लेकिन यह अनुमति धीरे-धीरे दी जाएगी।
उन्होंने कहा कि लॉकडाउन के चलते हमें कोविड-19 के प्रकोप पर नियंत्रण पाने में काफी हद तक सफलता मिली है। आम लोगों को आने वाले दिनों में भी इस महामारी से बचाव के पूरे उपाय अपनाने की जरूरत है, तभी जिला रेड जोन से बाहर आ सकेगा।