आपको सर्दी खांसी और बुखार है, आपको लगता है कि यह कोरोना हो सकता है इसलिए आप अपनी जांच करवाते हैं, जांच के बाद आपकी रिपोर्ट नेगेटिव आती है। अब नेगेटिव रिपोर्ट देखकर आप बेफिक्र हो जाते हैं कि आपको कोरोना नहीं है। लेकिन यह सिर्फ एक भ्रम है, डॉक्टरों का कहना है कि संभव है रिपोर्ट नेगेटिव आने के बाद भी आपको कोरोना हो सकता है।
दरअसल, कई बार कोरोना डिटेक्ट नहीं हो पाता है, उसका बडा कारण यह है कि अब वायरस के नए स्ट्रेन या उसके म्यूटेशन ने अपने लक्षण बदल लिए है, इसलिए कई बार यह पारंपरिक जांच में पकड में नहीं आ पाता है। ऐसे में निश्चिंत होकर नहीं बैठना चाहिए।
डॉ समीर मोहश्वरी एमबीबीएस इस बारे में और ज्यादा स्पष्ट करते हुए कहते हैं कि वायरस का नया म्यूटेशन पहले से ज्यादा संक्रामक तो है ही, इसके साथ ही अब नए वायरस के लक्षण भी बदलकर आ रहे हैं।
उन्होंने बताया कि पहले सर्दी, खांसी, बुखार, सूंघने की क्षमता में कमी और स्वाद नहीं आने जैसे लक्षण थे, लेकिन अब ऐसा नहीं है। उन्होंने बताया कि अब सर्दी, खांसी और बुखार के साथ कमजोरी और लूज मोशन भी इसके लक्षणों में शामिल हो गया है। ऐसे में अगर परंपरागत तरीके से जांच में कई बार यह पता नहीं चल पाता कि कोरोना है या नहीं और रिपोर्ट नेगेटिव आ जाती है।
यानि ऐसा भी हो सकता है कि जिन्हें बुखार नहीं है, लेकिन कमजोरी है, उसे कोरोना निकल सकता है।
नेगेटिव आए तो ऐसे में क्या करें?
डॉ समीर माहेश्वरी ने बताया कि जाहिर है सर्दी, खांसी, बुखार और इसी तरह के लक्षण होने पर डॉक्टर से मिले और कोरोना की जांच करवाए। अगर इसके बाद भी कोरोना वायरस का संक्रमण नहीं निकलता है यानि जांच रिपोर्ट नेगेटिव आती है तो डॉक्टर को अपनी दिक्कतों के बारे में बताएं और सिटी स्कैन करवाएं।
डॉ समीर के मुताबिक सिटी स्कैन से यह साफ हो जाएगा कि कोरोना है या नहीं। लेकिन सिटी स्कैन अपने डॉक्टर के कहने पर ही करवाएं और तभी करवाए जब दिक्कत हो और सामान्य इलाज से तकलीफ दूर नहीं हो रही हो।
बार बार न करवाएं सिटी स्कैन
डॉ समीर के मुताबिक सिटी स्कैन किसी भी मरीज को बार-बार नहीं करवाना चाहिए। यह खतरनाक है। उन्होंने बताया कि कई बार लोग हर सप्ताह या महीने में सिटी स्कैन करवा लेते हैं। ऐसा करना खतरे से खाली नहीं है।
दरअसल, सिटी स्कैन में रेडिएशन एक्सपोजर होता है जो बेहद खतरनाक होता है। उन्होंने बताया कि एक बार किए जाने वाले सिटी स्कैन से जो रेडिएशन निकलता है, वह सौ एक्सरे के बराबर होता है। यह रेडिएशन खतरनाक होते हैं और इससे केंसर खतरा हो सकता है।