नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने सोमवार को कहा कि कोविड-19 संबंधी हालात मुंबई, पुणे, इंदौर, जयपुर, कोलकाता और पश्चिम बंगाल के कुछ अन्य स्थानों पर ‘विशेष रूप से गंभीर’ हैं और लॉकडाउन के नियमों के उल्लंघन से कोरोना वायरस फैलने का खतरा है। केंद्र सरकार ने इन स्थानों में कोविड-19 संबंधी हालातों का जायजा लेने के लिए 6 अंतर-मंत्रालयी केंद्रीय टीमें (आईएमसीटी) गठित की है।
गृह मंत्रालय ने राज्य सरकारों और केंद्रशासित प्रदेशों से कहा कि कोविड-19 से निपटने के लिए काम कर रहे स्वास्थ्यसेवा पेशेवरों पर हिंसा, सामाजिक दूरी बनाए रखने का उल्लंघन और शहरी इलाकों में वाहनों की आवाजाही के कई मामले सामने आए हैं। इन्हें रोका जाना चाहिए।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि कोविड-19 के कारण मरने वालों की संख्या बढ़कर 543 हो गई है और इससे संक्रमित लोगों की संख्या 17,265 हो गई है।
गृह मंत्रालय ने कहा कि मध्यप्रदेश के इंदौर, महाराष्ट्र के मुंबई एवं पुणे, राजस्थान के जयपुर और पश्चिम बंगाल के कोलकाता, हावड़ा, पूर्वी मेदिनीपुर, उत्तर 24 परगना, दार्जिलिंग, कलिम्पोंग और जलपाईगुड़ी में हालात ‘विशेष रूप से गंभीर’ हैं।
उसने कहा कि बंद के नियमों के उल्लंघन के सामने आए मामले लोगों के स्वास्थ्य को गंभीर खतरा पैदा कर रहे हैं और कोविड-19 के फैलने का खतरा भी बढ़ा रहे हैं।
मंत्रालय ने कहा कि केंद्र सरकार ने इन स्थानों में कोविड-19 संबंधी हालात का वहां जाकर आकलन करने और चारों राज्यों- मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, राजस्थान एवं पश्चिम बंगाल के लिए आवश्यक निर्देश जारी करने के लिए 6 अंतर-मंत्रालयी केंद्रीय टीमें (आईएमसीटी) गठित की है। उसने कहा कि टीम केंद्र सरकार को अपनी रिपोर्ट सौंपेंगी।
गृह मंत्रालय के एक प्रवक्ता ने कहा कि आईएमसीटी बंद के नियमों के अनुसार दिशा-निर्देशों के पालन एवं क्रियान्वयन, आवश्यक वस्तुओं की आपर्ति, सामाजिक दूरी, स्वास्थ्य संबंधी बुनियादी ढांचे की तैयारी, स्वास्थ्यकर्मियों की सुरक्षा और श्रमिकों एवं गरीबों के लिए स्थापित राहत शिविरों में हालात पर गौर करेंगी।
उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना वायरस महामारी से निपटने के लिए 24 मार्च को बंद की घोषणा की थी जिसके बाद में 3 मई तक के लिए बढ़ा दिया गया। (भाषा)