मैनचेस्टर। भारत और न्यूजीलैंड के बीच खेले जा रहे विश्व कप क्रिकेट के पहले सेमीफाइनल मैच में जैसे ही टीम इंडिया के कप्तान विराट कोहली ने प्लेइंग इलेवन की घोषणा की, वैसे ही क्रिकेट के जानकारों को 4 मैचों में 14 विकेट लेने वाले मोहम्मद शमी का नाम न देखकर आश्चर्य हुआ।
ओल्ड ट्रैफर्ड मैदान पर खेले जा रहे इस मैच में विराट ने 2 तेज गेंदबाजों बुमराह और भुवनेश्वर को शामिल किया और बल्लेबाजी को मजबूती देने के लिए दिनेश कार्तिक और ऑलराउंडर रवींद्र जड़ेजा को प्लेइंग इलेवन में रखा। क्रिकेट कमेंटेटर हर्ष भोगले और अन्य भारतीय क्रिकेट विशेषज्ञ भी शमी को शामिल न करने के निर्णय पर हैरत में पड़ गए।
क्रिकेट के जानकारों को आशंका होने लगी कि कहीं विराट का यह फैसला टीम इंडिया पर भारी न पड़ जाए। शमी को बाहर रखने का फैसला इसलिए भी आश्चर्य में डालने वाला था क्योंकि उनका न्यूजीलैंड के खिलाफ शानदार प्रदर्शन रहा है। शमी ने 6.21 की इकोनॉमी के साथ 9 मैचों में कुल 20 विकेट हासिल किए हैं।
वैसे देखा जाए तो दिनेश कार्तिक की जगह तीसरे गेंदबाज के रूप में विराट शमी को शामिल कर सकते थे। यूं भी इस विश्व कप में दिनेश कार्तिक ने कोई चमत्कारिक प्रदर्शन नहीं किया है। कार्तिक ने बांग्लादेश के खिलाफ 9 गेंद पर 8 रन बनाए थे। श्रीलंका के विरुद्ध मैच में उन्हें बल्लेबाजी का मौका ही नहीं मिला।
दोनों तेज गेंदबाजों का शानदार प्रदर्शन : जसप्रीत बुमराह और भुवनेश्वर कुमार ने शुरुआत में कसी हुई गेंदबाजी की। यही कारण है कि न्यूजीलैंड की सलामी जोड़ी 3.3 ओवर में ही टूट गई थी। बुमराह की गेंद पर दूसरी स्लिप में विराट कोहली ने मार्टिक गुप्टिल (1) का जो कैच लपका, वह देखते ही बनता था।
बुमराह ने पहले स्पेल में 4 ओवर डाले और 10 रन देकर 1 विकेट लिया। भुवनेश्वर ने भी 5 ओवर में केवल 13 रन दिए। न्यूजीलैंड का 10 ओवर के बाद स्कोर केवल 27 पर 1 विकेट का था। यदि शमी भी मैदान पर होते तो न्यूजीलैंड पर दबाव और अधिक बढ़ जाता।