Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia

इस शक्तिपीठ में अनुष्ठान के बाद भारत से भाग खड़ी हुई थी चीन की सेना, सत्ता प्राप्ति के लिए आते हैं देश के बड़े नेता

Advertiesment
हमें फॉलो करें इस शक्तिपीठ में अनुष्ठान के बाद भारत से भाग खड़ी हुई थी चीन की सेना, सत्ता प्राप्ति के लिए आते हैं देश के बड़े नेता

WD Feature Desk

, बुधवार, 26 मार्च 2025 (07:02 IST)
Maa Pitambara Siddhapeeth Datiya: मध्य प्रदेश की दतिया जिले में स्थित है मां पीतांबरा सिद्धपीठ। मां पीतांबरा को राज सत्ता की देवी माना जाता है। माता की इस सिद्ध मंदिर में पूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू इंदिरा गांधी और अटल बिहारी वाजपेई से लेकर राजमाता विजय राजे सिंधिया तक सभी आ चुके हैं मान्यता है कि इस स्थान पर आने वाले की मुराद जरूर पूरी होती है और उसे राज सत्ता का सुख प्राप्त होता है। राजसत्ता की कामना रखने वाले भक्त यहां आकर माता की गुप्त पूजा अर्चना करते हैं। धार्मिक मान्यता के अनुसार मां पीतांबरा को शत्रु का नाश करने वाली शक्ति माना जाता है इसीलिए राज-सत्ता की प्राप्ति के लिए उनकी पूजा अर्चना का विशेष महत्व है।

जब चीन और पाकिस्तान से युद्ध के समय मंदिर में किया गया विशेष अनुष्ठान
यह बात 1962 की है जो भारत और चीन के बीच युद्ध की शुरुआत हुई थी। कहते हैं उस समय के फौजी अधिकारियों और तात्कालिक प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के कहने पर देश की रक्षा के लिए यहां के संस्थापक बाबा ने मां बगुलामुखी का विशेष 51 कुंडीय महायज्ञ करवाया था। 11 दिन अंतिम आहुति के साथ  चीन ने अपनी सेनाएं वापस बुला ली थीं। आज भी यहां लगी एक पट्टिका पर इस घटना का उल्लेख मिलता है। 

कहा जाता है कि कारगिल युद्ध के समय भी तात्कालिक प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई के कहने पर यहां कुछ साधकों ने गुप्त यज्ञ का आयोजन किया था और मां बगला मुखी की विशेष साधना की थी। पाकिस्तान के साथ हुए इस युद्ध में भी आखिरकार पाकिस्तान को मुंह की खानी पड़ी थी।
ALSO READ: ये हैं मध्यप्रदेश के प्रसिद्ध देवी माता मंदिर, चैत्र नवरात्रि में दर्शन करने से मिलती है देवी मां की विशेष कृपा

अस्वीकरण (Disclaimer) : सेहत, ब्यूटी केयर, आयुर्वेद, योग, धर्म, ज्योतिष, वास्तु, इतिहास, पुराण आदि विषयों पर वेबदुनिया में प्रकाशित/प्रसारित वीडियो, आलेख एवं समाचार जनरुचि को ध्यान में रखते हुए सिर्फ आपकी जानकारी के लिए हैं। इससे संबंधित सत्यता की पुष्टि वेबदुनिया नहीं करता है। किसी भी प्रयोग से पहले विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।


Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

26 मार्च 2025 : आपका जन्मदिन