Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

सफाई कर रहे हैं तो रखें सावधानी, हो सकता है एलर्जिक राइनाइटिस

हमें फॉलो करें सफाई कर रहे हैं तो रखें सावधानी, हो सकता है एलर्जिक राइनाइटिस
जी हां, सफाई करने से हो सकता है एलर्जिक राइनाइटिस, जानिए कारण और सावधानियां
 
जब हम सफाई करते हैं तो धूल के कई कण हमारी नाक में प्रवेश् करते हैं जो हमें दिखाई नहीं देते। हमारी नाक शारीरिक क्रियाओं में एक महत्वपूर्ण रोल अदा करती है। यह सांस के साथ शरीर में प्रवेश करने वाले धूल कणों और हानिकारक पदार्थों को रोकती है।
 
लेकिन जब यह पदार्थ किसी तरह से द्वारा शरीर के अंदर प्रवेश करने में सफल होते हैं, तो हमारा प्रति‍रक्षा तंत्र इनके प्रति प्रतिक्रिया व्यक्त करता है, जो एलर्जी के रूप में सामने आता है। नाक में होने वाली एलर्जी को एलर्जिक राइनाइटिस कहते हैं। 
 
आइए जानते हैं इसके प्रमुख लक्षण- 
1 लगातार छींकें आना और नाक से पानी जैसा तरल पदार्थ का लगातार बहना। 
2 नाक, आंख, तालू में खुजली होना। 
3 नाक बंद होना और सिरदर्द बना रहना।
 
प्रमुख कारण - बदलता हुआ मौसम, तापमान में अचानक परिवर्तन, धूल-मिट्टी, नमी, प्रदूषण, जानरों के रेशे एवं बाल का शरीर में प्रवेश के साथ ही पेड़ और  परागकणों के शरीर में प्रवेश करने या त्वचा पर लगने से होने वाली प्रतिक्रिया, एलर्जिक राइनाइटिस के प्रमुख लक्षण हैं। 
 
कितनी है खतरनाक -  वैसे तो यह बीमारी जानलेवा नहीं होती, लेकिन आपकी सामान्य दिनचर्या को अत्यधिक प्रभावित करने में सक्षम होती है । इसका सही वक्त पर ठीक और सफल उपचार नहीं होने पर, अन्य बीमारियों के फैलने का खतरा बना रहता है।
 
एलर्जिक राइनाइटिस के अलावा नेजल पॉलिप, साइनोसाइटिस भी संक्रमण का महत्वपूर्ण कारण है, जिसे समय पर पहचानकर उसका इलाज कराना बेहद आवश्यक है। जानिए क्या है, नेजल पॉलिप व साइनोसाइटिस-  दरअसल नाक के अंदर मांस का बढ़ना, नेजल पॉलिप कहलाता है।   
 
साइनोसाइटिस - नाक के आसपास हड्डियों में सामान्यत: हवा रहती है। एलर्जी होने पर हवा का आवागमन ठीक से न होने पर, इनके रास्ते बंद हो जाते हैं, और संक्रमण फैलने लगता है। 
 
क्या रखें सावधानियां -  
1  धूल व धुंए से बचें और तापमान में अचानक परिवर्तन होने पर बचाव करें। 
2  मुंह और नाक पर मास्क का इसतेमाल करें। इसके अलावा बाल वाले जानवरों से दूर ही रहें। 
3 यदि घर में वैक्यूम क्लीनर हो, तो झाडू की जगह उसका इस्तेमाल करें । 
4  पर्दे, चादर, बेडशीट व कालीन में नमी न लगने दें, समय-समय पर इन्हें धूप दिखाते रहें। 
5 अधिक एलर्जी होने पर सुरक्ष‍ित दवाओं का प्रयोग करें या नाक, कान व गला रोग विशेषज्ञ से परामर्श लें।

webdunia

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

Corona Virus से नहीं घबराएं, जानें Expert Advice