Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia

कविता : मैं फिर से मुस्कुराना चाहता हूं

हमें फॉलो करें कविता : मैं फिर से मुस्कुराना चाहता हूं
webdunia

राकेशधर द्विवेदी

मैं फिर से मुस्कुराना चाहता हूं 
जो गीत तुम पर लिखे हैं 
वो तुमको मैं सुनाना चाहता हूं 
 
तुम्हारी जुल्फों के साये में 
मैं फिर से गुनगुनाना चाहता हूं 
 
जो बातें दिल में छुपा रखी हैं 
उसे जुबां पर लाना चाहता हूं 
 
दिल में बसी हो नजरों में सजी हो 
ये तुमको मैं बताना चाहता हूं 
 
अंधेरी इस रात में चांदनी तुम हो मेरी 
अंधकार भरे जीवन में रोशनी तुम मेरी 
 
मैं इस हकीकत की बयानी 
जुबां पर लाना चाहता हूं 
मैं फिर से मुक्कुराना चाहता हूं 


Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

कहानी : तीर हर शख़्स की कमान में है...