Muhammad Yunus News : बांग्लादेश के मुख्य सलाहकार मुहम्मद यूनुस ने कहा है कि उनकी अंतरिम सरकार भारत के साथ अच्छे संबंध चाहती रही, लेकिन हमेशा कुछ न कुछ गलत हो जाता है। बुधवार को लंदन में 'चाथम हाउस' थिंक टैंक के निदेशक ब्रोनवेन मैडॉक्स के साथ बातचीत में यूनुस ने भारत के साथ द्विपक्षीय संबंधों और देश के लिए लोकतांत्रिक रोडमैप सहित कई मुद्दों पर बात की।
मैडॉक्स ने अपदस्थ प्रधानमंत्री शेख हसीना के प्रत्यर्पण की मांग करते हुए भारत को जारी किए गए एक अनौपचारिक राजनयिक नोट का हवाला दिया और मामले पर ताजा जानकारी के बारे में पूछा। यूनुस ने कहा कि यह जारी रहेगा। हम चाहते हैं कि पूरी प्रक्रिया बहुत कानूनी, बहुत उचित हो। हम भारत के साथ बेहतरीन संबंध बनाना चाहते हैं। यह हमारा पड़ोसी है, हम नहीं चाहते कि उनके साथ किसी भी तरह की बुनियादी समस्या हो।
ALSO READ: दिल्ली में अवैध रूप से रह रहे 92 बांग्लादेशी नागरिक पकड़े, इलाका छोड़ने की तैयारी में थे
उन्होंने कहा कि लेकिन भारतीय प्रेस से आने वाली सभी फर्जी खबरों के कारण हर बार चीजें गलत हो जाती हैं और कई लोग कहते हैं कि इसका संबंध शीर्ष पर बैठे नीति निर्माताओं से है। यूनुस ने कहा कि तो यही बात बांग्लादेश को बहुत बेचैन और बहुत नाराज करती है। हम इस गुस्से से उबरने की कोशिश करते हैं, लेकिन साइबरस्पेस में बहुत-सी चीजें होती रहती हैं। हम इससे बच नहीं सकते। अचानक वे कुछ कहते हैं, कुछ करते हैं, फिर से गुस्सा आ जाता है।
हसीना के बारे में यह कहा : उन्होंने कहा कि हमारे लिए यह बड़ा काम है कि हम कम से कम एक शांतिपूर्ण जीवन जी सकें। ऐसा जीवन जिसका हम सपना देख रहे हैं। जब दर्शकों में से कुछ ने हसीना के बारे में 'भारत की अस्पष्ट भूमिका' का दावा करते हुए सवाल किया तो यूनुस ने जवाब दिया कि (हसीना के खिलाफ) सारा गुस्सा अब भारत में स्थानांतरित हो गया है, क्योंकि वे वहां गईं।
ALSO READ: 1971 की भारत पाकिस्तान जंग में कैसे अलग हुआ बांग्लादेश बनाम पूर्वी पाकिस्तान
उन्होंने कहा कि जब मुझे प्रधानमंत्री (नरेन्द्र) मोदी से बात करने का मौका मिला तो मैंने बस इतना कहा कि आप उनकी मेजबानी करना चाहते हैं, मैं आपको उस नीति को छोड़ने के लिए मजबूर नहीं कर सकता। लेकिन कृपया यह सुनिश्चित करने में हमारी मदद करें कि वे बांग्लादेशी लोगों से उस तरह बात न करें जिस तरह वे (ऑनलाइन) कर रही हैं। वे इस तरह तारीख, इस तरह समय की घोषणा करती हैं कि वे बोलेंगी और पूरा बांग्लादेश बहुत गुस्सा हो जाता है।
बांग्लादेश में छात्रों के नेतृत्व वाले आंदोलन के बाद हसीना को पिछले साल 5 अगस्त को न केवल पद छोड़ना पड़ा था, बल्कि ढाका छोड़ने के लिए भी मजबूर होना पड़ा था और उन पर बांग्लादेश में अनेक मामले दर्ज किए गए। नोबेल पुरस्कार विजेता यूनुस (84) ने पिछले साल अगस्त में बांग्लादेश में अंतरिम सरकार के प्रमुख के रूप में पदभार संभाला था।
उन्होंने पिछले सप्ताह घोषणा की थी कि 2026 की पहली छमाही तक राष्ट्रीय चुनाव होंगे। यह पूछे जाने पर कि क्या वे निर्वाचित सरकार का हिस्सा बनने पर विचार करेंगे, यूनुस ने जवाब दिया कि बिल्कुल नहीं। वे मंगलवार को ब्रिटेन की 4 दिवसीय यात्रा पर पहुंचे, जहां उनके सामने ब्रिटेन में हसीना की अवामी लीग पार्टी के सदस्यों ने प्रदर्शन किया। इस यात्रा के दौरान उनके महाराजा चार्ल्स तृतीय और ब्रिटिश सरकार के वरिष्ठ सदस्यों से मिलने की संभावना है।(भाषा)
Edited by: Ravindra Gupta