न्यूयॉर्क। अमेरिकी शहर न्यूयॉर्क में दूसरी रात भी कर्फ्यू जारी रहा, लेकिन यह रात्रि पिछली रात की तुलना में अपेक्षाकृत शांत रही। जॉर्ज फ्लॉयड की मौत के खिलाफ प्रदर्शन शांतिपूर्ण रहा और तोड़फोड़ की छुटपुट घटनाएं सामने आईं।
शहरभर में मंगलवार रात 8 बजे से बुधवार सुबह 5 बजे तक कर्फ्यू लागू रहा। कर्फ्यू को रात में होने वाली हिंसक घटनाओं को रोकने के लिए लागू किया गया है जो शांतिपूर्ण प्रदर्शनों के बाद कई दिनों तक चली थी।
विभाग के प्रमुख टेरेंस मोनाहन ने कहा कि रात आठ बजे ही सड़कों को खाली करने का आदेश दे दिया गया था जो सोमवार को रात 11 बजे दिया गया था। इससे पुलिस को शहर सड़कों का नियंत्रण अपने हाथों में लेने में मदद मिली।
मोनाहन ने एनबीसी के 'टूडे' कार्यक्रम में कहा कि जल्दी कर्फ्यू लागू करने से इलाकों से उन लोगों को निकालने में पुलिस को मदद मिली जो वहां के रहने वाले नहीं थे।
उन्होंने कहा कि अधिकारियों ने रात आठ बजे के बाद शांतिपूर्ण प्रदर्शनों की इजाजत दी लेकिन जो लोग उत्पात मचाने की फिराक में थे, उन्हें तेजी से हटा दिया गया।
पुलिस ने कहा कि उन्होंने प्रदर्शनों के सिलसिले में करीब 280 लोगों को गिरफ्तार किया है जबकि सोमवार की रात 700 लोगों की गिरफ्तारी की गई थी। मेयर बिल डे ब्लसासियो ने कहा कि रविवार तक रात आठ बजे से कर्फ्यू लागू कर दिया जाएगा। उन्होंने राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और गवर्नर एंड्रयू क्योमो की नेशनल गार्ड बुलाने की सलाह को भी खारिज कर दिया।
प्रदर्शनकारियों ने मंगलवार रात को मैनहट्टन और ब्रुकलिन की सड़कों पर नारेबाजी करते हुए मार्च निकाला।प्रदर्शनकारी रिशा मुनोज़ ने कहा कि हम सिर्फ घूम रहे हैं और हम रुकने वाले नहीं हैं।
काले व्यक्ति फ्लॉयड की 25 मई को हत्या के बाद से ही मार्च निकालना प्रदर्शनों का हिस्सा रहा है। मिनीपोलिस के एक श्वेत पुलिस अधिकारी ने फ्लॉयड को जमीन पर गिरा के उनकी गर्दन अपने घुटने से दबा दी थी, जिससे उनकी मौत हो गई।(भाषा)