इस्लामाबाद। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने अपने भारतीय समकक्ष नरेन्द्र मोदी को एक पत्र लिखकर कहा है कि जम्मू-कश्मीर मुद्दा सहित दोनों देशों के बीच लंबित सभी मुद्दों का समाधान करने को लेकर सार्थक और नतीजे देने वाली वार्ता के लिए अनुकूल माहौल बनाना जरूरी है।
खान ने यह पत्र पाकिस्तान दिवस के मौके पर पिछले सप्ताह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा उन्हें भेजी गई बधाइयों के जवाब में लिखा है। मोदी ने अपने पत्र में कहा था कि पाकिस्तान के साथ भारत सौहार्दपूर्ण संबंधों की आकांक्षा करता है, लेकिन विश्वास का वातावरण, आतंक और बैररहित माहौल इसके लिए 'अनिवार्य' है।
प्रधानमंत्री मोदी के पत्र के जवाब में खान ने उनका शुक्रिया अदा किया और कहा कि पाकिस्तान के लोग भारत सहित सभी पड़ोसी देशों के साथ शांतिपूर्ण सहयोगी संबंध की आकांक्षा करते हैं। आतंकमुक्त माहौल पर खान ने कहा कि शांति तभी संभव है, यदि कश्मीर जैसे सभी लंबित मुद्दों का समाधान हो जाए।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने 29 मार्च को लिखे पत्र में कहा कि हम इस बात से सहमत हैं कि खासतौर पर जम्मू-कश्मीर विवाद जैसे भारत और पाकिस्तान के बीच लंबित सभी मुद्दों के समाधान पर दक्षिण एशिया में टिकाऊ शांति एवं स्थिरता निर्भर करती है।
खान ने कहा कि सार्थक एवं नतीजे देने वाली वार्ता के लिए अनुकूल माहौल बनाना जरूरी है। उन्होंने कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में भारत के लोगों को शुभकमानाएं भी दीं। गौरतलब है कि हाल ही में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री और सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा ने भारत की तरफ शांति का हाथ बढ़ाते हुए कहा था कि वक्त आ गया है कि दोनों पड़ोसी देश अतीत को भुला दें और आगे बढ़ें।
कोरोना से जीती जंग : पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने कोविड-19 से पूरी तरह उबरने के बाद फिर से काम शुरू कर दिया है। मंगलवार को यह घोषणा की गई। खान (68) 20 मार्च को कोरोनावायरस से संक्रमित पाए गए थे। उसी दिन उनकी पत्नी बुशरा बीबी के भी वायरस से संक्रमित होने की पुष्टि हुई थी। हालांकि वह संक्रमण से उबर गई हैं या नहीं, इस बारे में कोई जानकारी नहीं है।
खान के करीबी माने जाने वाले सांसद फैसल जावेद खान ने ट्विटर के जरिए इस बात की जानकारी दी। फैसल ने ट्वीट किया कि उन्होंने धीरे-धीरे फिर से काम शुरू कर दिया है। साथ ही वह राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय दिशा-निर्देशों के मद्देनजर डॉक्टरों की सलाह के अनुसार अपने काम का कार्यक्रम बना रहे हैं। (भाषा)