इस्लामाबाद। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान की मुश्किलें बढ़ती ही जा रही हैं। सत्तारूढ़ गठबंधन के कम से कम तीन सहयोगियों ने अविश्वास प्रस्ताव के दौरान उनकी सरकार के खिलाफ मतदान करने का संकेत दिया है, जो इस महीने के अंत में संसद में चर्चा के लिए आएगा। इस बीच इमरान ने साफ कहा कि वह किसी भी कीमत पर इस्तीफा नहीं देंगे।
प्रधानमंत्री खान ने कहा कि मैं किसी भी परिस्थिति में इस्तीफा नहीं दूंगा। मैं आखिरी गेंद (बॉल) तक खेलूंगा और एक दिन पहले मैं उन्हें (विपक्ष को) आश्चर्यचकित करूंगा क्योंकि वे अभी भी दबाव में हैं।
उन्होंने कहा कि विपक्ष ने अपने सभी पत्ते खोल दिए हैं, लेकिन मेरे खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव सफल नहीं होगा। उन्होंने कहा कि मेरा तुरुप का पत्ता यह है कि मैंने अभी तक अपना कोई पत्ता नहीं खोला है।
उन्होंने विपक्षी नेताओं के उनके खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव का जिक्र करते हुए कहा कि किसी को भी इस गलत धारणा में नहीं रहना चाहिए कि मैं घर पर बैठूंगा। मैं इस्तीफा नहीं दूंगा, और मुझे इस्तीफा क्यों देना चाहिए? क्या मुझे चोरों के दबाव के कारण इस्तीफा दे देना चाहिए?
पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के लगभग 100 सांसदों ने आठ मार्च को नेशनल असेंबली सचिवालय में अविश्वास प्रस्ताव को नोटिस दिया था, जिसमें आरोप लगाया गया है कि पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के नेता एवं प्रधानमंत्री खान के नेतृत्व वाली सरकार देश में आर्थिक संकट और बढ़ती महंगाई के लिए जिम्मेदार है।
रविवार को नेशनल असेंबली सचिवालय ने एक अधिसूचना जारी कर शुक्रवार को अहम सत्र आयोजित करने का मार्ग प्रशस्त किया। विपक्ष को 342 सदस्यीय नेशनल असेंबली में, खान को पद से हटाने के लिए 172 वोट की जरूरत है।
इस बीच जियो न्यूज की खबर के अनुसार मुत्ताहिदा कौमी मूवमेंट-पाकिस्तान (एमक्यूएम-पी), पाकिस्तान मुस्लिम लीग-कायद (पीएमएल-क्यू) और बलूचिस्तान अवामी पार्टी (बीएपी) सहित कम से कम तीन सहयोगियों ने अपने 17 सदस्यों के साथ विपक्ष में शामिल होने का संकेत दिया है।