Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia

तहव्वुर राणा ने प्रत्यर्पण पर रोक के लिए लगाई नई अर्जी, भारत नहीं आना चाहता मुंबई हमले का आरोपी

Advertiesment
हमें फॉलो करें tahawwur rana

वेबदुनिया न्यूज डेस्क

, शुक्रवार, 7 मार्च 2025 (11:23 IST)
Tahawwur Rana news in hindi : मुंबई आतंकवादी हमले के आरोपी तहव्वुर राणा ने भारत प्रत्यर्पण पर रोक लगाने के अनुरोध वाली याचिका शीर्ष अदालत द्वारा खारिज किए जाने के बाद मुख्य न्यायाधीश जॉन रॉबर्ट्स के समक्ष एक नई अर्जी दाखिल की है। पाकिस्तानी मूल का कनाडाई नागरिक (64) राणा वर्तमान में लॉस एंजिल्स के मेट्रोपॉलिटन डिटेंशन सेंटर में बंद है। ALSO READ: तहव्वुर राणा को अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट में लगा बड़ा झटका, जल्द भारत प्रत्यर्पण का रास्ता साफ
 
राणा ने 27 फरवरी को अमेरिका की शीर्ष अदालत के एसोसिएट जस्टिस और नौवें सर्किट की सर्किट जस्टिस एलेना कागन के समक्ष बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका के लंबित मुकदमे पर रोक लगाने के लिए आपात आवेदन प्रस्तुत किया था। शीर्ष अदालत की वेबसाइट पर छह मार्च को प्रकाशित एक नोट में कहा गया अर्जी... न्यायमूर्ति कागन ने अस्वीकार की।
 
राणा के वकीलों की ओर से गुरुवार को दायर की गई अर्जी के अनुसार राणा ने पहले न्यायमूर्ति कागन के समक्ष पेश बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका के लंबित मुकदमे पर रोक लगाने संबंधी अपनी आपात अर्जी अब नवीनीकृत की है। नवीनीकृत अर्जी मुख्य न्यायाधीश रॉबर्ट्स के समक्ष पेश करने की मांग की गई है।
 
अपनी आपात अर्जी में राणा ने 13 फरवरी की याचिका के गुण-दोष के आधार पर अपने प्रत्यर्पण और मुकदमा लंबित रहने तक भारत के समक्ष आत्मसमर्पण करने पर रोक लगाने की मांग की थी। ALSO READ: Mumbai 26/11 Attacks : आरोपी तहव्वुर हुसैन राणा ने की भारत न भेजने की अपील, बोला- प्रताड़ना से कुछ ही दिनों में हो सकती है मौत
 
उस याचिका में राणा ने तर्क दिया था कि भारत को उसका प्रत्यर्पण अमेरिकी कानून और यातना के विरुद्ध संयुक्त राष्ट्र कन्वेंशन का उल्लंघन है, क्योंकि यह मानने के पर्याप्त आधार हैं कि यदि उसे भारत प्रत्यर्पित किया गया तो याचिकाकर्ता को यातना दिए जाने का खतरा होगा।
 
याचिका में कहा गया कि इस मामले में प्रताड़ित किए जाने की संभावना और भी अधिक है, क्योंकि याचिकाकर्ता मुंबई हमलों में आरोपी पाकिस्तानी मूल का मुस्लिम है। याचिका में यह भी कहा गया है कि उसकी गंभीर चिकित्सा स्थिति के कारण उसे भारतीय हिरासत केंद्रों में प्रत्यर्पित करना इस मामले में वास्तव में मौत की सजा है।
 
उल्लेखनीय है कि जनवरी में अमेरिका के उच्चतम न्यायालय ने राणा की याचिका खारिज कर दी थी और उसके प्रत्यर्पण को मंजूरी दे दी थी। फरवरी में अमेरिकी राष्‍ट्रपति ट्रंप ने भी राणा को भारत प्रत्यर्पित किए जाने का एलान किया था। 
edited by : Nrapendra Gupta

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

जिम्मी मगिलिगन सेंटर पर होली मनाने के लिए प्राकृतिक व रसायनमुक्त रंग बनाने का प्रशिक्षण