वाशिंगटन। ट्विटर के एक पूर्व सुरक्षा प्रमुख ने अमेरिकी कांग्रेस (संसद) में बड़ा खुलासा करते हुए कहा कि चीन का कम से कम एक जासूस ट्विटर में कर्मचारी के तौर पर काम कर रहा था। उन्होंने दावा किया कि कंपनी ने जानबूझ कर भारत को अपने जासूसों को कंपनी में भर्ती करने की इजाजत दी जिससे इन देशों को ग्राहकों की जानकारियों तक पहुंच संभव हुई।
जानेमाने साइबर सुरक्षा विशेषज्ञ पीटर एम जेटको अपने आरोपों पर दलील पेश करने के लिए सीनेट की न्यायिक समिति के समक्ष पेश हुए थे। उन्होंने कहा कि ट्विटर जनता, सांसदों और नियामकों को गुमराह कर रहा है तथा यह मंच उद्योगों के सर्वश्रेष्ठ मानदंड से एक दशक से अधिक पीछे है।
जेटको ने दावा किया कि वह उच्च आत्मविश्वास के साथ एक विदेशी एजेंट के बारे में बोल रहे हैं जिसे भारत सरकार ने ट्विटर में भारत की सत्तारूढ़ पार्टी और ट्विटर के बीच नए सोशल मीडिया प्रतिबंधों को लेकर बातचीत को समझने तथा यह बातचीत कितने अच्छे से चल रही है यह जानने के लिए रखवाया था।
उन्होंने यह खुलासा भी किया नौकरी से निकाले जाने से लगभग एक हफ्ता पहले उन्हें बताया गया था कि चीनी राष्ट्रीय सुरक्षा मंत्रालय का कम से कम एक जासूस ट्विटर पर तन्ख्वाह पाने वाला कर्मचारी है।
उन्होंने कहा कि वे नहीं जानते कि क्या डाटा उनके पास है, वे कहा हैं और कहां से आते जाते हैं, आश्चर्यजनक रूप से वे उनकी रक्षा नहीं कर सकते।
जेटको ने कहा कि यह हम सभी के लिए बड़ी बात है। अगर ताले ही नहीं हैं तो इस बात का कोई मतलब नहीं रह जाता कि चाबियां किसके पास हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि ट्विटर के नेतृत्व ने इस पहलु को नजर अंदाज किया क्योंकि उसके कार्यकारी सुरक्षा से अधिक मुनाफे को तरजीह देते हैं।
उन्होंने कहा कि ट्विटर ने जानबूझकर भारत सरकार को अपने एजेंटों को कंपनी में रखने की अनुमति दी, जहां उनकी पहुंच उपयोगकर्ताओं के अत्यधिक संवेदनशील डेटा तक थी।
उन्होंने जुलाई में कांग्रेस, न्याय विभाग, फेडरल ट्रेड कमीशन तथा सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज कमीशन में व्हिसलब्लोअर के रूप में शिकायत की थी। उनका सबसे गंभीर आरोप है कि ट्विटर ने 2011 के एक एफटीसी समझौते की शर्तों का उल्लंघन किया था और झूठा दावा किया कि उसने अपने उपयोगकर्ताओं की सुरक्षा एवं निजता की रक्षा के लिए मजबूत कदम उठाये थे।
न्यायिक समिति के प्रमुख और इलिनॉइस के डेमोक्रेट सीनेटर डिक डर्बिन ने कहा कि जेटको के पास उन खामियों के बारे में विस्तार से जानकारी है जो ट्विटर के लाखों उपयोगकर्ताओं को तथा अमेरिकी लोकतंत्र को सीधा खतरा पहुंचा सकती हैं।
जेटको के दावे ट्विटर को खरीदने के लिए टेस्ला मालिक एलन मस्क के 44 अरब डॉलर के सौदे से पीछे हटने के प्रयासों को भी प्रभावित कर सकते हैं।