Ukraine horrific attack on Russia: यूक्रेनी विशेष बलों ने रूस के निजनी नोवगोरोद क्षेत्र में स्थित सावस्लेका हवाई अड्डे पर 9 जून की रात को किए गए हमले में दो रूसी लड़ाकू विमानों को नष्ट करने का दावा किया है। 'द गार्डियन' की रिपोर्ट के अनुसार, यह हमला यूक्रेन के 'ऑपरेशन स्पाइडरवेब' की शानदार सफलता के एक सप्ताह बाद हुआ, जिसमें यूक्रेनी ड्रोनों ने रूस के परमाणु-सक्षम बमवर्षक विमानों को निशाना बनाया था।
यूक्रेनी सेना के जनरल स्टाफ ने बताया कि सावस्लेका हवाई अड्डा, जो यूक्रेन की सीमा से 660 किमी दूर है, रूस के मिग-31 के विमानों का ठिकाना है। ये विमान किंझाल हाइपरसोनिक मिसाइलों से लैस हैं और यूक्रेनी शहरों पर हमलों में उपयोग होते हैं। हमले में मिग-31 और सु-30/34 विमानों को नुकसान पहुंचा, हालांकि नुकसान की सटीक जानकारी की पुष्टि जारी है।
चेबोक्सारी में ड्रोन हमला : सावस्लेका हमले के साथ ही यूक्रेनी ड्रोनों ने चुवाशिया गणराज्य के चेबोक्सारी शहर में VNIIR-प्रोग्रेस संयंत्र पर हमला किया। यह संयंत्र रूसी सेना के लिए इलेक्ट्रॉनिक युद्ध उपकरण और इस्कंदर मिसाइल, लैंसेट व शाहेद ड्रोनों के लक्ष्यीकरण तंत्र बनाता है। हमले से संयंत्र में भीषण आग लग गई, जिसके बाद रूसी अधिकारियों ने क्षेत्र में वाणिज्यिक उड़ानें रोक दीं। चुवाशिया के गवर्नर ओलेग निकोलायेव ने पुष्टि की कि दो ड्रोन संयंत्र पर गिरे, जिससे उत्पादन अस्थायी रूप से ठप हुआ। यूक्रेनी सेना नुकसान का आकलन कर रही है।
उल्लेखनीय है कि 'ऑपरेशन स्पाइडरवेब के बाद रूस ने 8-9 जून की रात को 479 ड्रोनों और 20 मिसाइलों के साथ यूक्रेन पर बड़ा हमला किया। रिव्ने में एक व्यक्ति की मौत हुई, और कीव में एक कार्यालय भवन क्षतिग्रस्त हुआ। यूक्रेनी वायु सेना ने 277 ड्रोन और 19 मिसाइलों को नष्ट करने का दावा किया।
सुमी और डोनेट्स्क में रूस की सेना सुमी की क्षेत्रीय राजधानी से 18 मील दूर है। सुमी के गवर्नर ने स्थिति को नियंत्रण में बताया। हांलाकि यूक्रेनी सेना ने रूस के डोनेट्स्क से डीनीप्रोपेट्रोव्स्क में प्रवेश के दावे को खारिज किया, और डोनेट्स्क में लड़ाई जारी है। ऑपरेशन स्पाइडरवेब की सफलता के बाद से ही यूक्रेनी सेना लगातार आक्रमक रुख अपनाए है। बता दें कि 1 जून 2025 को शुरू हुए 'ऑपरेशन स्पाइडरवेब' में यूक्रेनी सुरक्षा सेवा ने रूस के चार प्रमुख हवाई अड्डों पर ड्रोन हमले कर 41 रूसी विमान नष्ट या क्षतिग्रस्त कर दिए थे।
वहीं, इस्तांबुल में शांति वार्ता के तहत यूक्रेन और रूस ने 9 जून को युद्धबंदियों का आदान-प्रदान किया। 25 वर्ष से कम आयु के और गंभीर रूप से घायल सैनिकों को रिहा किया गया। यदि समझौता पूरा हुआ, तो 1,200 युद्धबंदियों और मृत सैनिकों के शवों का आदान-प्रदान होगा।
Edited by: Vrijendra Singh Jhala