जेनेवा। बाल अधिकार के लिए काम करने वाली संयुक्त राष्ट्र की संस्था यूनिसेफ ने पांच बीमारियों के संयुक्त टीके के लिए चार भारतीय समेत छह कंपनियों के लिए करार किया है जिससे हर साल 57 लाख बच्चों की जान बचाई जा सकेगी।
यूनिसेफ ने एक मीडिया ब्रीफिंग में कहा कि इस करार से उसे यह टीका मौजूदा कीमत से आधे दाम पर मिलेगा। वर्ष 2017 से 2020 के दौरान 80 देशों में इस टीके की 45 करोड़ खुराक भेजी जा सकेगी जिससे हर साल पांच साल से कम उम्र के 57 लाख बच्चों की जान बचाने में मदद मिलेगी।
यह टीका एक साथ डिफ्थेरिया, टिटनेस, पर्टूसिस, हेपेटाइटिस बी तथा टाइप बी हीमोफिलस इंफ्लूएंजा (हिब) से बच्चों को बचाएगा। हिब एक जीवाणु है जिसके संक्रमण से मेनिनजाइटिस, निमोनिया तथा ओटिटिस जैसी बीमारियां हो सकती हैं।
यूनिसेफ के निदेशक (आपूर्ति एवं खरीद विभाग) शेनेल हॉल ने कहा, इस करार के बाद हम प्रति खुराक एक डॉलर से भी कम की दर से पांच बीमारियों से बचाने वाला यह टीका खरीद सकेंगे। सोलह साल की मशक्कत के बाद यह सौदा संभव हो सका है। इससे टीके की एक खुराक की कीमत घटकर 85 सेंट रह जाएगी जो इस पर यूनिसेफ की मौजूदा लागत की तुलना में आधी है।
जिन छह कंपनियों के साथ करार किया गया है उनमें भारत की बायोलॉजी ई लिमिटेड, पेनेसिआ बायोटेक लिमिटेड, सिरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया तथा शांथा बायोटेक्स, बेल्जियम की जेनसेन फार्मास्यूटिकल्स और दक्षिण कोरिया की कंपनी एलजी लाइफ शामिल हैं। (वार्ता)