Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

GST : हो सकता है एक और बदलाव

हमें फॉलो करें GST : हो सकता है एक और बदलाव
नई दिल्ली , मंगलवार, 21 नवंबर 2017 (18:19 IST)
नई दिल्ली। मुख्य आर्थिक सलाहकार अरविंद सुब्रमण्यम ने वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) में एक कर दर बनाए जाने की संभावना से इंकार किया है, लेकिन कहा कि सरकार 12 प्रतिशत और 18 प्रतिशत कर स्लैबों का विलय कर सकती है। उन्होंने स्पष्ट किया कि नुकसानदेह एवं लग्जरी उत्पादों के लिए 28 फीसदी वाला स्लैब बना रहेगा।
 
सुब्रमण्यम् ने यहां एक अंग्रेजी दैनिक से चर्चा में कहा कि जीएसटी के लिए एक ही कर दर की व्यवस्था संभव नहीं है। लेकिन, 12 प्रतिशत और 18 प्रतिशत की स्लैबों का विलय कर निकट भविष्य में एक स्लैब बनाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि देश में कभी भी एक जीएसटी दर नहीं हो सकती है क्योंकि गरीबों के लिए शून्य और पांच प्रतिशत की दर रहेगी जबकि 12 फीसदी और 18 प्रतिशत का विलय किया जा सकता है।
 
मुख्य आर्थिक सलाहकार ने कहा कि सीमेंट और उपभोक्ता इलेक्ट्रॉनिक्स वस्तुएं नुकसानदेह श्रेणी की वस्तुएं नहीं है, लेकिन सरकार राजस्व संग्रह पर विचार करते हुए धीरे-धीरे इन्हें ऊंची कर दर से बाहर निकाल रही है। पिछले वर्ष राजस्व निरपेक्ष दर 15.5 प्रतिशत रखने का प्रस्ताव करने वाले सुब्रमण्यम ने कहा कि जीएसटी कर संग्रह को देखते हुए सरकार अगले कुछ सप्ताह में वित्तीय स्थिति पर कोई घोषणा कर सकती है। 
 
उन्होंने वर्तमान में जीएसटी के सही दिशा में आगे बढ़ने का दावा करते हुए कहा कि प्राकृतिक गैस और रियल एस्टेट भी जीएसटी के दायरे में आ सकता है। उन्होंने कहा कि भूमि और रियल एस्टेट जीएसटी परिषद के एजेंडे में हैं, लेकिन अब तक इस पर चर्चा नहीं हुई है। बिजली को जीएसटी के दायरे में यथाशीघ्र लाए जाने की आवश्यकता बताते हुए उन्होंने कहा कि इससे न सिर्फ प्रतिस्पर्धा बढ़ेगी बल्कि यह 'मेक इन इंडिया' के उद्देश्यों को भी हासिल करने में मददगार होगा। (वार्ता)

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

खत्म हुआ इंतजार, आम आदमी की भी हाइड्रोजन कार