सेंचुरियन। भारत को दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ दूसरे वनडे में जीत के लिए जब केवल 2 रन चाहिए थे तभी खेल रोक दिया गया जिससे आईसीसी को खेल की परिस्थितियों से संबंधित अपने अजीबोगरीब नियमों के लिए आलोचना का सामना करना पड़ा।
दोनों अनुभवी मैदानी अंपायरों अलीम डार और एड्रियन होल्डस्टोक तथा मैच रैफरी एंडी पायक्राफ्ट की टीवी कमेंटेटरों और क्रिकेट विशेषज्ञों ने आलोचना की। भारत को जब जीत के लिए कवेल 2 रनों की दरकार थी तब अंपायरों ने आईसीसी के जटिल नियमों के तहत लंच कर दिया था।
भारत ने दक्षिण अफ्रीका को पहले बल्लेबाजी का न्योता देकर 118 रनों पर आउट कर दिया था। इसके बाद भारतीय पारी जल्द ही शुरू हो गई और जब उसने 19 ओवरों में 1 विकेट पर 117 रन बनाए थे तभी अंपायरों ने आईसीसी नियमों के तहत लंच घोषित कर दिया। यह फैसला सभी को नागवार गुजरा, क्योंकि अंपायरों ने पहले ही 3 ओवर और करने की अनुमति दे दी थी। जब लंच होना चाहिए था तब भारत ने 15 ओवरों में 1 विकेट पर 93 रन बनाए थे।
फैसले से खिलाड़ी, दर्शक और कमेंटेटर हैरान थे लेकिन अंपायर नियमों पर अडिग रहे जिसके कारण 40 मिनट के लंच ब्रेक के बाद फिर से भारतीय शुरू हुई और उसने 2 रन बनाकर 6 मैचों की श्रृंखला में 2-0 से बढ़त बनाई। वेस्टइंडीज के पूर्व दिग्गज माइकल होल्डिंग ने इस फैसले को हास्यास्पद करार दिया और उन्होंने कमेंट्री करते हुए कहा कि वे (आईसीसी) खेल को आकर्षक बनाना चाहते हैं लेकिन यह हास्यास्पद फैसला है।
यहां तक कि कोई भी टीम इस फैसले से खुश नहीं दिखी तथा उस समय बल्लेबाजी कर रहे भारतीय कप्तान विराट कोहली ने अंपायरों के सामने यह मसला उठाया लेकिन अंपायरों पर इसका कोई असर नहीं पड़ा। पूर्व भारतीय बल्लेबाज वीरेन्द्र सहवाग ने ट्विटर पर अंपायरों के फैसले का मजाक उड़ाते उन्होंने मजाकिया अंदाज में लिखा- 'अंपायर भारतीय बल्लेबाजों के साथ वैसा ही व्यवहार कर रहे हैं, जैसे सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक ग्राहकों के साथ करते हैं कि लंच के बाद आना।' (भाषा)