टीम इंडिया और
वेस्टइंडीज के बीच किंगस्टन में खेले जा रहे टेस्ट सीरीज के अंतिम मुकाबले में ऋषभ पंत ने एक बार फिर से अपने आपको साबित कर दिखा दिया है कि भारतीय टीम के चयनकर्ता एमएसके प्रसाद ने पंत को मौका देकर कुछ गलत नहीं किया है। 21 साल के इस युवा विकेटकीपर बल्लेबाज ने तीनों फॉर्मेटों में शानदार विकेटकीपिंग कर सभी को अपना मुरीद कर दिया है।
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एमएस धोनी को छोड़ा पीछे : वेस्टइंडीज के खिलाफ जमैका में खेले जा रहे दूसरे टेस्ट मैच के तीसरे दिन रविवार को ऋषभ पंत ने ईशांत शर्मा की गेंद पर क्रैग ब्रैथवेट का कैच लपककर अपनी 11वीं टेस्ट पारी में अपना 50वां टेस्ट विकेट लेकर एक नया कीर्तिमान हासिल कर भारतीय टीम के पूर्व कप्तान विकेटकीपर एमएस धोनी को पीछे छोड़ दिया। इसी के साथ ऋषभ पंत टेस्ट क्रिकेट में 50 बल्लेबाजों को सबसे तेजी से आउट करने वाले भारतीय विकेटकीपर भी बन गए।
गत वर्ष दिसंबर माह में भी पंत ने 1 टेस्ट में किसी विकेटकीपर के सर्वाधिक कैच का विश्व रिकॉर्ड बनाया था, जब एडिलेड में उन्होंने 11 ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों के कैच लपकर कर उन्हें पैवेलियन का रास्ता दिखलाया था।
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बल्लेबाजी को लेकर पंत सवालों के घेरे में : उल्लेखनीय है कि ऋषभ पंत विकेटकीपर की भूमिका निभाते हुए तो बखूबी नाम कमा रहे हैं लेकिन उनकी बल्लेबाजी ने कुछ खास कमाल नहीं किया जिसके कारण उनको सवालों के घेरे में खड़ा किया जा सकता है। पंत ने अभी तक के इस पूरे दौरे में अपने बल्ले से 2 टेस्ट मैचों की 3 पारियों में 58 रन ही निकाले हैं, वहीं सीमित ओवर फॉर्मेट सीरीज में भी पंत का प्रदर्शन कुछ खास नहीं था।
पंत ने 3 वनडे मैचों में मात्र 20 और 3 टी-20 मैचों में मात्र 69 रन बनाए हैं। पंत का आखिरी बड़ा स्कोर वेस्टइंडीज के खिलाफ खेले तीसरे टी-20 मैच में आया था, जहां उन्होंने नाबाद 65 रन बनाए थे। 'फोटो साभार ट्विटर'