Select Your Language

Notifications

webdunia
webdunia
webdunia
webdunia
Advertiesment

वैक्सीन लगवाने के बावजूद कैसे कोविड संक्रमित हो रहे हैं लोग?

हमें फॉलो करें वैक्सीन लगवाने के बावजूद कैसे कोविड संक्रमित हो रहे हैं लोग?

DW

, मंगलवार, 4 जनवरी 2022 (19:03 IST)
दुनियाभर में कोविड वैक्सीन की 2 डोज के बाद बूस्टर डोज लेने की सलाह दी जा रही है। पर ऐसे भी मामले आ रहे हैं जिनमें टीका लगवा चुके लोग कोरोना से संक्रमित हो रहे हैं। क्या है इसके पीछे का विज्ञान, आइए जानते हैं।    
कोरोनावायरस का टीका लगवाने के बाद भी लोग कोरोना से कैसे संक्रमित हो रहे हैं? पिछले कुछ हफ्तों में ऐसे मामलों की संख्या बढ़ने के बाद से यह बड़ा सवाल तमाम लोगों के जहन में है।
 
इसके पीछे कई वजहें हैं। पहली बड़ी वजह तो यही है कि कोरोना का नया वेरिएंट ओमिक्रॉन बेहद संक्रामक साबित हो रहा है। इससे संक्रमित होने पर हालत बेहद गंभीर भले न हो रही है, लेकिन यह भारी तादाद में लोगों को संक्रमित कर रहा है। यह भी देखने को मिला है कि जहां ज्यादा संख्या में लोग छुट्टियां मनाने घरों से निकले हैं, वहां ओमिक्रॉन संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैं।
 
कहां मात खा रहे हैं लोग?
 
अक्सर लोग इस गलतफहमी के शिकार हो जाते हैं कि कोविड-19 का टीका लगवाने से वे संक्रमण से पूरी तरह इम्यून हो गए हैं। मिनिसोटा यूनिवर्सिटी में वायरस पर शोध करने वाले लुईस मैन्स्की बताते हैं कि असल में ये टीके लोगों को गंभीर रूप से बीमार होने से बचाने के लिए हैं।
 
ऐसा देखा भी जा रहा है कि वैक्सीन अब तक अपने इस मकसद में सफल भी हो रही हैं। खासकर बूस्टर डोज लेने वाले लोगों पर इसके असर का पता चल रहा है।
 
क्या अचूक उपाय है वैक्सीन?
 
फाइजर-बायोन्टेक और मॉडर्ना वैक्सीन के शुरुआती 2 डोज भले ओमिक्रॉन वेरिएंट पर तुरंत काबू पाने वाले साबित न हो रहे हों, लेकिन इसके बूस्टर डोज से निश्चित तौर पर शरीर में एंटीबॉडी की संख्या बढ़ जाती है, जिससे गंभीर रूप से संक्रमित होने से कुछ राहत मिल सकती है।
 
कोरोना के पिछले वेरिएंट्स की तुलना में ओमिक्रॉन वेरिएंट इंसानी शरीर में अपनी मात्रा या संख्या ज्यादा तेजी से बढ़ाता है। तो अगर किसी संक्रमित व्यक्ति में वायरस का लोड ज्यादा है, तो उनके अन्य लोगों को संक्रमित करने की आशंका भी ज्यादा होगी। वे लोग तो खासतौर से खतरे की जद में होंगे जिन्होंने अब तक टीका नहीं लगवाया है।

webdunia
 
टीका लगवाने के अलावा क्या हैं उपाय?
 
टीका लगवा चुके लोग अगर वायरस से संक्रमित होते हैं, तो उनमें बेहद मामूली लक्षण देखने को मिलते हैं, क्योंकि टीके की वजह से शरीर के प्रतिरक्षा तंत्र में पहले ही सुरक्षा की कई तहें तैयार हो जाती हैं। ओमिक्रॉन के लिए इन सारी तहों को भेदना थोड़ा मुश्किल होता है।
 
लेकिन इससे सुरक्षित रहने के तौर-तरीकों और सलाहों में कोई बदलाव नहीं आता है। डॉक्टर अब भी सार्वजनिक और निजी, दोनों जगहों पर मास्क लगाने, भीड़-भाड़ में न जाने, वैक्सीन लगवाने और बूस्टर डोज लेने की सलाह दे रहे हैं। हालांकि ये टीके आपके संक्रमित न होने की गारंटी नहीं हैं, लेकिन वैक्सीन निश्चित रूप से आपको गंभीर रूप से बीमार होने से बचाएगी, अस्पताल में भर्ती होने से बचाएगी और मरने के खतरे को कम करेगी।
 
वीएस/एनआर (एपी)

Share this Story:

Follow Webdunia Hindi

अगला लेख

नए साल की शुरुआत गलवान घाटी पर नए विवाद से