जिन लोगों के पास घर और स्थायी पता नहीं होता, वो अपनी जिंदगी कैसे संवारें? इसी सवाल के साथ जबाव खोजते हुए स्कॉटलैंड में बेघर लोगों के लिए एक गांव बसाया गया।
मिल गई छत
यह है "सोशल बाइट विलेज" नाम का स्कॉटिश गांव। बेघर लोग यहां रह सकते हैं, खाना पीना खा सकते हैं। बेघर लोगों के हकों की आवाज बुलंद करने वाले लोग खाने पीने का खर्च उठाते हैं।
डेढ़ साल तक टेंशन फ्री
12 से 18 महीने तक बेघर लोग इन घरों में मुफ्त में रह सकते हैं। इस दौरान संस्था उनके लिए नौकरी और नया घर खोजने की कोशिश करती है। सोशल बाइट विलेज एडिनबरा शहर में है।
हर तरह की सुविधा
हर घर में एक बेडरूम, ओपन किचन और बाथरूम है। किचन में सारे बर्तन और औजार मौजूद हैं। मनोरंजन के लिए एक टेलिविजन भी है।
लकड़ी के घर
सारे मकान टिकाऊ ढंग से उगाए गए जंगल की लकड़ी से बने हैं। बाहरी दीवारें 25 सेंटीमीटर मोटी हैं। घर सर्दियों में गुनगुने और गर्मियों में ठंडे रहते हैं।
सुकून भरा कोना
बेडरूम बहुत बड़ा नहीं है लेकिन आरामदायक है। मकानों को इस ढंग से बनाया गया है कि ज्यादा से ज्यादा जगह बचाई जा सके।
मानवीय मदद
सोशल बाइट का मकसद बेघर लोगों को फिर से अपने पैरों पर खड़ा करना है। 18 महीने तक यहां रहने के दौरान बेघर लोगों की छत की चिंता दूर हो जाती है। फाउंडेशन के कर्मचारी सोनी मरे (बाएं) कॉलिन चाइल्ड्स (दाएं) भी कभी बेघर थे।
सामाजिक पहल के जनक
सोशल बाइट विलेज प्रोजेक्ट के लिए पहल करने वालों में जोश लिटिल जॉन की अहम भूमिका है। वह मानते हैं कि गरीबी से घिरे इंसान में भी प्रतिभा होती है, उसे बस सहारे की जरूरत पड़ती है। लिटिल जॉन इस प्रोजेक्ट को दुनिया भर के शहरों में फैलाना चाहते हैं।