भोपाल। एमपी अजब है और यहां की सियासत गजब है। सियासी दांव पेंच के लिए अक्सर देश के सियासी परिदृश्य पर चर्चा में रहने वाले मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में शुक्रवार को हाईवोल्टेज सियासी ड्रामा देखने के मिला है। टेम व सुठालिया परियोजना के अंतर्गत डूब क्षेत्र में आने वाले किसानों की समस्याओं को लेकर कांग्रेस के दिग्गज नेता और पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह आज अपने पूर्व एलान के मुताबिक मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मिलने के लिए मुख्यमंत्री निवास की ओर बढ़े लेकिन मुख्यमंत्री की ओर से समय नहीं मिलने के कारण पुलिस ने दिग्विजय सिंह को रोक लिया जिसके बाद दिग्विजय सिंह सड़क पर धरने पर बैठ गए।
एक और दिग्विजय सिंह मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मिलने की आस में धरने पर बैठे रहे तो दूसरी ओर उन्हीं के साथी और कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ की मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मुलाकात भी हुई और आधे घंटे तक एकांत में चर्चा भी।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने एक और दिग्विजय सिंह को मिलने का समय नहीं देना वहीं दूसरी ओर दूसरी ओर स्टेट हैंगर पर उनकी पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के साथ एकांत में गुफ्तगू के कई तरह के सियासी मायने तलाशे जा रहे है। बताया जा रहा है कि दोनों नेताओं के बीच एकांत में चर्चा में कई अहम मुद्दों पर बातचीत हुई।
वहीं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मुलाकात के बाद कमलनाथ दिग्विजय सिंह के धरना स्थल पर भी पहुंचे। कमलनाथ जब दिग्विजय सिंह के धरने पर पहुंचे थे तब मीडिया ने उनसे शिवराज से मुलाकात और समय मिलने के बारे में सवाल किया तो कमलनाथ भड़क गए और कहा कि बेकार की बात करते हो।
गौरतलब है कि पुलिस के द्धारा रोके जाने पर दिग्विजय सिंह अपने समर्थकों के साथ धरने पर बैठ गए है। वहीं बताया जा रहा है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने दिग्विजय सिंह को 23 जनवरी को सुबह 11:45पर मिलने का समय दिया है, लेकिन दिग्विजय सिंह लिखित में समय देने की मांग को लेकर धरने पर बैठे हुए है।