महाराष्ट्र में नई सरकार के गठन को लेकर 10 दिन बाद भी हाईवोल्टेज सियासी ड्रामा खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है। राज्य में भले ही नई सरकार की शपथ ग्रहण की तारीख (5 दिसंबर) और समय (शाम 5 बजे) तय हो गया है कि लेकिन अब तक राज्य का मुख्यमंत्री कौन होगा इस पर सस्पेंस बना हुआ है।
एकनाथ शिंदे का नया दांव?-महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर सस्पेंस के बीच कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने एक बार फिर इशारों ही इशारों में मुख्यमंत्री पद के लिए अपना दावा ठोंक दिया है। शिंदे ने दावा किया कि जनता उनको महाराष्ट्र के सीएम के रूप में वापस देखना चाहती है। वहीं एकनाथ शिंदे की समर्थक नेता लगातार कह रहे है कि पूरा विधानसभा चुनाव एकनाथ शिंदे के चेहरे पर लड़ा गया था। दरअसल ऐसी अटकलें लगाई जा रही थीं कि शिंदे नई सरकार के गठन के फॉर्मूले से खुश नहीं हैं।
ऐसे में नई सरकार के गठन को लेकर अब सबकी निगाहें एकनाथ शिंदे पर के रूख पर टिक गई है। मीडिया रिपोर्टस के हवाले से खब है कि शिंदे डिप्टी सीएम के साथ गृह मंत्रालय की अपनी मांग पर अड़े है। वहीं अब इस बात की भी अटकलें लगाई जा रही है कि एकनाथ शिंदे के बेटे श्रीकांत शिंदे को उपमुख्यमंत्री का पद मिल सकता है, वहीं एकनाथ शिंदे केंद्र में मंत्री बन सकते है।
भाजपा विधायक दल की बैठक पर सबकी नजर-महाराष्ट्र का नया मुख्यमंत्री कौन होगा, इस पर पर्दा भाजपा विधायक दल की बैठक में उठेगा। लेकिन भाजपा विधायक दल की बैठक कब होगी, यह अभी साफ नहीं है। पहले भाजपा विधायक दल की बैठक रविवार को होने की बात कही जा रही थी, लेकिन भाजपा सूत्रों के हवाले से चार दिसंबर को भाजपा विधायक दल की बैठक होने की खबरें आ रही है। यह तब है कि जब विधानसभा चुनाव में भाजपा को प्रचंड जीत हासिल हुई है और उसके 132 विधायक चुने गए है। वहीं कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने फिर कहा है कि वह नए मुख्यमंत्री को लेकर बीजेपी के फैसले का समर्थन करेंगे।
देवेंद्र फडणवीस या कोई नया चेहरा?- महाराष्ट्र में भाजपा के सबसे बड़े चेहरे देवेंद्र फडणवीस राज्य के नए मुख्यमंत्री होंगे या उनकी जगह पार्टी किसी नए चेहरे पर दांव लगाएगी, इस पर अब भी सस्पेंस बना हुआ है। इस बीच मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार देवेंद्र फडणवीस नए मुख्यमंत्री होंगे। राज्य भाजपा के एक वरिष्ठ नेता की ओर से यह दावा किया गया कि राज्य के नए मुख्यमंत्री के रूप में देवेंद्र फडणवीस का नाम फाइनल कर दिया गया है और उन्हें पार्टी की बैठक में विधायक दल का नेता चुन लिया जाएगा।
महाराष्ट्र में भाजपा की ओर से नए सीएम चेहरे के चयन में देरी का एक बड़ा कारण क्या जातीय समीकरण में पार्टी का उलझना है, यह सवाल भी अब खड़ा हो रहा है। बताया जा रहा है कि एकनाथ शिंदे ने मराठा कार्ड खेलकर देवेंद्र फडणवीस की राह में मुश्किलें ख़ड़ी कर दी है। ऐसे में प्रचंड जीत के बाद भी भाजपा के लिए मराठा चेहरे एकनाथ शिंदे को दरकिनार करना आसान नहीं हो रहा है देवेंद्र फडणवीस अगड़े समुदाय से आते है और पार्टी अगर उनको मुख्यमंत्री बनाती है तो मराठा के साथ ओबीसी वर्ग को साधना उनके लिए सबसे बड़ी चुनौती होगी।
डिप्टी सीएम और विभागों को लेकर सस्पेंस-महाराष्ट्र के कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे क्या नई सरकार में डिप्टी सीएम बनेंगे या उनकी जगह कोई और लेगा इस पर भी सस्पेंस बना हुआ है। दरअसल राज्य में महायुति गठबंधन की बंपर जीत के बाद नई सरकार के गठन में मुख्यमंत्री चेहरे के साथ मंत्रिमंडल में शामिल होने वाले चेहरे और विभागों के बंटवारे को लेकर भी मतभेद नजर आ रहा है। शिवसेना और एनसीपी अपने लिए बड़े और मलाईदार विभाग चाह रही है। एकनाथ शिंदे गृह विभाग की दावेदारी कर रहे है तो अजित पवार अपने लिए वित्त विभाग चाह रहे है। वहीं नई सरकार और मंत्रिमंडल के स्वरूप को लेकर एकनाथ शिंदे ने कहा कि महायुति के सहयोगी दलों के सभी नेता एक साथ बैठकर आम सहमति से नई सरकार गठन का फैसला करेंगे।