प्रकृति संरक्षण हमारे लिए बहुत ज़रूरी है क्योंकि प्रकृति के बिना हमारा जीवन असंभव है। साथ ही आने वाली नई जनरेशन के लिए प्रकृति को बचाकर रखना हमारा कर्तव्य है। इस कर्तव्य के प्रति युवाओं को जाग्रत करना बहुत ज़रूरी है। ऐसे ही कुछ कदम देवी अहिल्या विश्विद्यालय के स्कूल ऑफ सोशल साइंसेज के मास्टर ऑफ सोशल वर्क के छात्रों ने लिए। छात्र, क्षेत्रीय भ्रमण पर सनावदिया गांव की छोटी पहाड़ी पर स्थित जिम्मी मगिलिगन सेंटर फॉर सस्टेनेबल डेवलपमेंट पर पहुचें।
सेंटर की निदेशिका डॉ जनक पलटा मगिलिगन ने उनका स्वागत कर संक्षिप्त परिचय के बाद अपने गौ.केंद्रित की सुंदर हरियाली को दिखाते हुए कहा कि 'उनके स्वर्गीय पति जिम्मी मगिलिगन ने इस विशेष घर को बनाते समय प्रकृति के पांचो तत्वों मिट्टी, पानी, अग्नि, हवा और आकाश का विशेष ध्यान रखा था। साथ ही इतनी बड़ी खिड़कियां बनाई जिसके कारण किसी भी प्रकार की बिजली या पंखे की ज़रूरत नहीं है। चारों तरफ पेड़ों से घिरे भवन में तापमान भी कम रहता है और हवादार होने के कारण कूलर व ऐसी की ज़रूरत नहीं होती।'
छात्रों को जानकार हैरानी हुई कि सेंटर केवल 2 किलो वॉट सोलर पवन ऊर्जा पर आत्मनिर्भर है। साथ ही पिछले 13 साल से पड़ोस में 50 आदिवासी परिवारों को भी 19 स्ट्रीट लाइट निशुल्क मिल रही है। इसके बाद प्राकृतिक संसाधनों पर आधारित कई प्रकार की सरल लेकिन उन्नत और कुशल प्रौद्योगिकियों का लाइव प्रदर्शन भी किया जो प्रकृति के साथ पूर्ण सामंजस्य में नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों के विविध रूपों पर आधारित है।
सोलर थर्मल में दुनिया भर में बनाए गए 13 अलग-अलग प्रकार के सोलर कुकर पर सोलर कुकिंग, बेकिंग, डीप फ्राइंग खाद्य प्रसंस्करण शामिल है। इसमें सबसे खास था ऑटो ट्रैकिंग सोलर कंसंट्रेटर शेफलर डिश वाली सोलर किचन के अंदर खाना बनता देखना प्रेशर कुकर की सीटी सुनना और खौलता हुआ पानी। छात्रों को सोलर गीजर, सोलर चार्ज रेडियो, सोलर लालटेन, आपातकालीन लाइट टॉर्च, हीट रिटेनर, मोबाइल फोन और लैपटॉप चार्जर सहित घरेलू उपकरणों के नियमित उपयोग और बिना धूप वाले दिनों में वैकल्पिक जैव ईंधन के लिए ब्रिकेटिंग यूनिट भी अद्भुत लगा।
सोलर टनल ड्रायर में सूखे टमाटर सोलर टनल ड्रायर का उपयोग किसानों की अर्थव्यवस्था में सुधार लाने के लिए किया जाता है जिससे मूल्य में वृद्धि होती है और कमजोर और खराब होने वाले फल सब्जियों की शेल्फ लाइफ बढ़ जाती है। साथ ही इसके लिए महंगे टमाटर की ज़रूरत भी नहीं है। ये कम लागत वाले सोलर टनल ड्रायर अर्थव्यवस्था के साथ खाद्य उत्पादों और पारिस्थितिकी की सुनिश्चित ऑफ-सीजन आपूर्ति भी देते हैं।
इसके साथ ही एक तालाब भी है जिस तालाब में इस आधा एकड़ ज़मीन के अन्य स्रोतों के पानी एवं वर्षा जल का संचयन किया जाता है। इस पानी का उपयोग खेतों की सिंचाई में किया जाता है। यहां पर रहने वाले सभी लोग खाद्दान आपूर्ति यहां के खेतों से होती हैं। इन खेतों में जैविक खेती की जाती है। यहां खेती में रसायनों के स्थान पर घर में पाली गई गाय के गोबर से बनी खाद का प्रयोग किया जाता है।
इसके बाद जनक दीदी ने अपने बहाई जीवन के अनुसार सभी के साथ सद्भाव में रहने और ईश्वर की सभी कृतियों के साथ स्वस्थ संबंधों को बनाए रखने के उद्देश्य के बारे में अपने जीवन भर की सीख और प्रयासों को साझा किया।
उन्होंने मुख्य रूप स्वावलंबन पर प्रकाश डालते हुए कहा कि केवल पर्यावरण के मुद्दों और समस्याओं के बारे में जागरूकता फैलाने के बारे में बात करना ही नहीं, दैनिक जीवन में आत्मसंयम से प्रकृति संरक्ष्ण, रसायनमुक्त कच्रामुक्त और प्रदुषणमुक्त व उपभोगमुक्त जीवन सहजता और अपनी इच्छा से जीना ही स्वावलंबन है। वो एसी, वाशिंग मशीन, फ्रिज बिजली से चलने वाले उपकरणों से मुक्त है। कपड़े भी प्रेस करके नही पहनती। घर का उगा जैविक ही खाती है। सिर्फ नमक, शक्कर और चाय की पत्ती बाहर से खरीदी जाती है। सभी छात्रों और फेकलटीज़ ने हार्दिक आभार दिया और इस अनुभव से जीने के गुण सीख कर जा रहें है आप अनुकरणीय है हम भी ज़रूर प्रयास करेंगे।