नई दिल्ली। इस बार मोदी कैबिनेट में 42 फीसदी मंत्री दागी छवि के हैं। एडीआर (चुनाव सुधारों के लिए काम करने वाले समूह) की एक रिपोर्ट के मुताबिक केंद्रीय मंत्रिमंडल के 78 मंत्रियों में से 42 प्रतिशत ने अपने खिलाफ आपराधिक मामले होने की घोषणा की है। इनमें से 4 पर हत्या के प्रयास से संबंधित मामले भी हैं। 15 नए कैबिनेट मंत्रियों और 28 राज्यमंत्रियों ने बुधवार को शपथ ली। इसके बाद मंत्रिपरिषद के कुल सदस्यों की संख्या 78 हो गई।
एडीआर ने चुनावी हलफनामों का हवाला देते हुए कहा कि इन सभी मंत्रियों के किए गए विश्लेषण में 42 प्रतिशत (33) ने अपने खिलाफ आपराधिक मामले होने का उल्लेख किया है। करीब 24 यानी 31 प्रतिशत मंत्रियों ने हत्या, हत्या के प्रयास, डकैती आदि समेत गंभीर आपराधिक मामलों की घोषणा की है।
कूचबिहार निर्वाचन क्षेत्र के निशिथ प्रमाणिक ने अपने खिलाफ हत्या से जुड़े एक मामले की घोषणा की है। वे गृह राज्यमंत्री बने हैं। वे 35 वर्ष के मंत्रिपरिषद के सबसे युवा चेहरे भी हैं। 4 मंत्रियों- जॉन बारला, प्रमाणिक, पंकज चौधरी और वी. मुरलीधरन ने हत्या के प्रयास से जुड़े मामलों की घोषणा की है।
इसके अलावा रिपोर्ट में जिन मंत्रियों का विश्लेषण किया गया, उनमें से 70 (90 प्रतिशत) करोड़पति हैं। प्रति मंत्री औसत संपत्ति 16.24 करोड़ रुपए है। 4 मंत्रियों- ज्योतिरादित्य सिंधिया, पीयूष गोयल, नारायण तातु राणे और राजीव चंद्रशेखर ने 50 करोड़ रुपए से ज्यादा की संपत्ति का उल्लेख किया है। 8 मंत्रियों ने अपनी संपत्ति 1 करोड़ रुपए से कम घोषित की है। इनमें प्रतिमा भौमिक, जॉन बारला, कैलाश चौधरी, बिश्वेश्वर टूडु, वी. मुरलीधरन, रामेश्वर तेली, शांतनु ठाकुर एवं निशिथ प्रमाणिक शामिल हैं। इनमें प्रतिमा भौमिक के पास सबसे कम 6 लाख की संपत्ति है।