नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शनिवार को 'स्वच्छता ही सेवा आंदोलन' का शुभारंभ करेंगे। इस अभियान का हिस्सा बनने और स्वच्छ भारत मिशन को कामयाब बनाने के लिए प्रधानमंत्री मोदी ने करीब 2000 नागरिकों को खुद पत्र लिखे हैं।
मोदी ने इस आंदोलन को 2 अक्टूबर को महात्मा गांधी की 150वीं जयंती के अवसर पर उन्हें सच्ची श्रद्धांजलि बताया है। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि जिन लोगों को आमंत्रित किया गया है उनमें पूर्व न्यायाधीश, अवकाश प्राप्त अधिकारी, वीरता पुरस्कार के विजेता तथा राष्ट्रमंडल और एशियाई खेलों के पदक विजेता शामिल हैं।
सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों, उप मुख्यमंत्रियों, राज्यपालों और उप राज्यपालों को भी व्यक्तिगत रूप से यह पत्र प्राप्त हुआ है। कुछ प्रमुख धार्मिक नेताओं, फिल्म हस्तियों, खिलाड़ियों, लेखकों, पत्रकारों को भी प्रधानमंत्री तरफ से यह पत्र मिला है।
पत्र में प्रधानमंत्री ने स्वच्छ भारत अभियान को एक जनआंदोलन बताया है जो अब पूरे देश में स्वच्छता क्रांति का रूप ले चुका है। एक पखवाड़े तक चलने वाले इस कार्यक्रम की शुरूआत के दौरान प्रधानमंत्री वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए देश के 18 स्थानों पर समाज के विभिन्न वर्गों के लोगों से बातचीत करेंगे।
प्रधानमंत्री जिन लोगों के साथ बातचीत करेंगे, उनमें स्कूली बच्चे, जवान, धार्मिक नेता, दुग्ध एवं कृषि सहकारिता के सदस्य, पत्रकार, स्थानीय सरकार के प्रतिनिधि, रेलवे कर्मचारी, स्वयं सहायता समूह और स्वच्छाग्रही शामिल हैं। ‘स्वच्छता ही सेवा’आंदोलन को स्वच्छ भारत मिशन की चौथी वर्षगांठ से पूर्व आयोजित किया जा रहा है।