Case of fire in Mahakal temple : उज्जैन के महाकाल मंदिर में 25 मार्च को आग लगने से 14 पुजारी और 'सेवक' के घायल होने संबंधी मामले में एक वरिष्ठ अधिकारी ने गुरुवार को प्रारंभिक रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि आग कपूर आरती में गुलाल गिरने से लगी। होली के दिन शाम 5:50 बजे भस्म आरती के दौरान प्रसिद्ध मंदिर के गर्भगृह में आग लगी थी।
उज्जैन के जिलाधिकारी नीरज कुमार सिंह ने बताया, जांच समिति ने अपनी प्रारंभिक रिपोर्ट प्रस्तुत कर दी है। पता चला है कि मंदिर प्रबंधन द्वारा उपलब्ध नहीं कराया गया गुलाल 'कपूर' आरती पर गिर गया और आग लग गई। आग चार से पांच सेकंड में बुझा दी गई, लेकिन यह इतनी तेज थी कि कई लोग 25-30 प्रतिशत झुलस गए।
मंदिर समिति के कर्मचारियों की लापरवाही : कलेक्टर ने कहा, जांच समिति को मंदिर के अंदर लोगों की संख्या के साथ-साथ गुलाल की मात्रा और प्रकार से संबंधित उल्लंघनों के बारे में भी पता चला। सुरक्षाकर्मी अपने निर्धारित क्षेत्रों में नहीं थे और कुछ स्थानों पर ताला लगा हुआ था, जिसके परिणामस्वरूप देरी हुई क्योंकि उन्हें खोलने में समय लगा। उन्होंने कहा कि मंदिर समिति के कर्मचारियों की ओर से लापरवाही का पता चला है और उनके खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी।
मुख्य रूप से 4 से 5 लोग जिम्मेदार : सिंह ने बताया, फिलहाल घटना के लिए मुख्य रूप से चार से पांच लोगों को जिम्मेदार ठहराया गया है। हालांकि सभी संबंधित व्यक्तियों के बयान दर्ज होने के बाद यह संख्या बढ़ सकती है। अंतिम रिपोर्ट जल्द ही सौंपी जाएगी। घटना के बाद जिलाधिकारी ने जिला पंचायत सीईओ मृणाल मीणा और अपर जिलाधिकारी अनुकूल जैन को जांच के आदेश दिए थे। (भाषा)
Edited By : Chetan Gour