नई दिल्ली। बिहार में बाढ़ की स्थिति बुधवार को और गंभीर हो गई जिससे 22 लोगों के मारे जाने की सूचना है, वहीं गुजरात में अचानक आई बाढ़ में 5 लोग मारे गए। महाराष्ट्र के रायगढ़ में पुल ढहने से दो बसों समेत कई वाहन नदी में बह गए। हालांकि असम में बाढ़ की स्थिति में मामूली सुधार आया है।
बिहार में अभी तक 60 लोगों की मौत हो चुकी है जिसमें सबसे अधिक 24 मौतें पुर्णिया में हुईं, जबकि कठिहार में 15 लोग, सुपौल में 8, किसनगंज में 5, मधेपुरा में 4, गोपालगंज में 2 और सहरसा एवं अररिया में 1-1 व्यक्ति की मौत हुई है। राज्य के 12 जिलों में 29 लाख लोग बाढ़ से प्रभावित हैं।
नेपाल के तराई क्षेत्र में भारी बारिश के चलते भागलपुर जिले के कहलगांव में गंगा नदी का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर बना हुआ है। प्रभावित इलाकों में कुल 460 राहत शिविर चल रहे हैं, जहां 3,77,097 लोगों ने शरण ले रखी है।
गुजरात के दक्षिण और पूर्व मध्य हिस्सों में मंगलवार रात को भारी बारिश से नदियों के किनारे स्थित वलसाड़, नवसारी और सूरत जिलों में बाढ़ जैसी स्थिति पैदा हो गई और 2 जगहों पर कम से कम 5 लोग मारे गए। वलसाड़ के भागरावाड़ा गांव में 3 लोग डूब गए, जबकि छोटा उदयपुर में बोदेली के निकट ओरसांग नदी में 2 लोग डूब गए।
महाराष्ट्र में ठाणे, पलघर और नासिक जिलों में करीब 100 गांवों को भारी बारिश के चलते अलर्ट पर रखा गया है। लगातार बारिश होने से मोदक सागर और तांसा जलाशय से पानी बाहर आने के बाद ठाणे, पालघर जिलों में 78 गांवों को अलर्ट रखा गया है। मुंबई-गोवा हाइवे पर देर रात भारी बारिश की वजह से एक पुल गिर गया। सावित्री नदी पर बने पुल गिरने के बाद वहां से गुजर रही दो बसों समेत कुछ अन्य वाहन भी पानी में बह गए।
नासिक में बुधवार को लगातार तीसरे दिन बारिश से आम जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया, वहीं गोवा में लगातार बारिश से लोग खासा प्रभावित हुए हैं। कास्ती नदी के करीब रहने वाले लोगों को सचेत रहने को कहा गया है, क्योंकि जलस्तर बढ़ने की संभावना है।
इस बीच असम में बाढ़ की स्थिति में मामूली सुधार दर्ज किया गया है, हालांकि 19 जिलों में करीब 10 लाख लोग अब भी बाढ़ से प्रभावित हैं। राज्य के अधिकारियों के मुताबिक मंगलवार तक 21 जिलों में 11 लाख से अधिक लोग प्रभावित थे और 34 लोगों की जानें चली गईं।
काजीरंगा राष्ट्रीय उद्यान के मंडलीय वन अधिकारी सुवाशीष दास ने कहा कि बाढ़ के चलते 221 बारहसिंघा और 21 एक सींग वाले गैंडे समेत 310 जानवर मारे गए।
राष्ट्रीय राजधानी में सुबह 8.30 बजे तक 14.3 मिमी बारिश दर्ज की गई, लेकिन इसके बाद कोई बारिश नहीं हुई। हालांकि भारी उमस ने लोगों को बेचैन कर दिया। मौसम विभाग ने कहा कि अधिकतम तापमान 35.2 डिग्री रहा, जबकि आर्द्रता का स्तर 63 और 95 प्रतिशत के बीच रहा।
हिमाचल प्रदेश में बारिश से जुड़ी घटना के चलते अभी तक 22 लोग मारे जा चुके हैं। धर्मशाला में मंगलवार से अभी तक 208 मिमी, जबकि पालमपुर में 104 मिमी बारिश हुई है। कीरतपुर-मनाली और हिन्दुस्तान-तिब्बत राष्ट्रीय राजमार्गों सहित 150 स्थानों पर भूस्खलन होने से 100 से अधिक सड़कें बंद हो गईं। इनमें से कइयों को दोबारा खोला जा चुका है।
उत्तरप्रदेश में बिजली गिरने से बलिया में 1 व्यक्ति की मौत हो गई, जबकि कई जगहों पर गरज के साथ छींटे पड़े।